Kulgam encounter: digi desk/BHN/ भारतीय सेना ने कुलगाम एनकाउंटर में पाकिस्तान मूल के लश्कर के बड़े आतंकी को ढेर कर दिया है। यह मुठभेड़ गुरुवार से चल रही थी। मारे गए आतंकी का नाम उस्मान बताया गया है जिसकी सेना को करीब 6 माह से तलाश थी। मुठभेड़ में जम्मू-कश्मीर पुलिस ने भी अहम भूमिका निभाई। आतंकी की ओर से की गई गोलीबरी में 2 जवानों समेत कुल 4 लोग घायल हुए हैं। पूरे घटनाक्रम के बारे में जम्मू कश्मीर पुलिस के आईजी विजय कुमार ने बताया कि 15 अगस्त से पहले आतंकी बड़ी वारदात को अंजाम देना चाहते थे। उनके मुताबिक, आतंकियों के कब्जे से मिले गोला-बारूद को देखते हुए कहा जा सकता है कि यह बहुत बड़ी साजिश थी, जिसे नाकाम कर दिया गया है। हालांकि एक आतंकी फरार होने में कामयाब रहा।
बीएसएफ के काफिले पर आतंकवादियों की गोलीबारी में सुरक्षा बल के दो जवान और कई नागरिक घायल होने के बाद गुरुवार रात यह मुठभेड़ शुरू हुई थी। यह काफिला जम्मू से श्रीनगर की ओर जा रहा था। एक अधिकारी ने बताया, आतंकवादियों ने कुलगाम जिले के काजीगुंड इलाके के मालपोरा में जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग पर सुरक्षा बलों के काफिले पर गोलीबारी की। जम्मू-कश्मीर पुलिस के आईजीपी ने कहा कि दो पुलिसकर्मी और दो नागरिक घायल हुए हैं। विजय कुमार के मुताबिक, मारा गया आतंकी 6 माह से कश्मीर में सक्रिय था। वह उस्मान भाई उर्फ अबु जरार के नाम से पहचाना जाता था।
आईजी विजय कुमार के मुताबिक, एक त्रासदी टल गई है क्योंकि मारा गया आतंकी सुरक्षा बलों पर एक बड़े हमले की योजना बना रहा था। पुलिस को स्वतंत्रता दिवस से पहले राजमार्ग पर संभावित आतंकवादी हमले के बारे में जानकारी थी, इसलिए सुरक्षाबल अलर्ट पर थे।
लश्कर-ए-तैयबा के आतंकी के पास से एक एके-47 राइफल, चार मैगजीन, कुछ ग्रेनेड और सेल के साथ एक आरपीजी लांचर भी बरामद किया गया है। आरपीजी लांचर का उपयोग अफगानिस्तान में अधिक किया जाता है और इससे आसमान में उड़ान भरते हेलिकॉप्टर को उड़ाया जा सकता है।