सतना/भोपाल, भास्कर हिंदी न्यूज़/ त्रि-स्तरीय पंचायतों का परिसीमन सामान्य निर्वाचन वर्ष 2022 के लिए संशोधित समय सारणी पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग मंत्रालय के प्रमुख सचिव द्वारा जारी की गई है। जिसमें पंचायतों की सीमाओं में परिवर्तन वार्डों निर्वाचन क्षेत्रों का परिसीमन एवं निर्धारण कार्यक्रम अनुसार तिथिवार संपादित किया जाएगा। ग्राम पंचायतों के लिए जारी संशोधित कार्यक्रम अनुसार प्रारंभिक प्रकाशन 17 जनवरी को संपन्न हो चुका है। इसके पश्चात 11 फरवरी 2022 तक प्रकाशन पर दावे, आपत्ति एवं सुझाव प्रस्तुत करने की अंतिम तिथि निर्धारित की गई है। जिसके अनुसार नगरीय निकाय में सम्मलित या पृथक ग्राम या पंचायत किसी सिंचाई परियोजना से डूब में आ गए ग्राम या ग्राम पंचायत पिछले परिसीमन में छूटे गए ग्राम (जो वर्तमान में नगरी या पंचायत ग्रामीण क्षेत्र किसी में भी सम्मिलित नहीं है) ऐसी ग्राम पंचायतों की स्थापना विस्थापन पुनर्गठन किए जाने संबंधी प्रारंभिक प्रकाशन पर दावे आपत्तियां एवं सुझाव प्रस्तुत करने की अंतिम तिथि 11 फरवरी 2022 नियत की गई है। प्राप्त दावे आपत्तियों एवं सुझावों पर निराकरण की अंतिम तिथि 17 फरवरी 2022 है। इसके अलावा पुनर्गठन किया जाने संबंधी प्रारंभिक पर दावे आपत्तियां एवं सुझाव उपरांत धारा 3 के अंतर्गत ग्राम पंचायत के गठन का अंतिम प्रकाशन के लिए 21 फरवरी 2022 नियत की गई है। प्रकाशन- ग्राम पंचायत के वार्ड का निर्धारण तथा प्रारंभिक प्रकाशन 2 मार्च 2022 को किया जाएगा। प्रभावित ग्राम पंचायतों के वार्डों के प्रारंभिक प्रकाशन पर दावे आपत्तियां एवं सुझाव प्रस्तुत करने की अंतिम तिथि 9 मार्च नियत की गई है।
प्रभावित ग्राम पंचायत के वार्ड के प्रारंभिक प्रकाशन पर प्राप्त दावे, आपत्ति एवं सुझाव पर निराकरण की अंतिम तिथि 14 मार्च 2022 नियत की गई है। जबकि प्रभावित ग्राम पंचायतों के वार्डा के प्रारंभिक प्रकाशन पर प्राप्त दावे आपत्तियां एवं सुझाव के आधार पर निराकरण एवं अधिसूचना का अंतिम प्रकाशन 16 मार्च 2022 को किया जाएगा। जनपद एवं जिला पंचायत हेतु जारी संशोधित कार्यक्रम अनुसार- जनपद पंचायत और जिला पंचायत के निर्वाचन क्षेत्रों का निर्धारण तथा उनके क्षेत्र आदि का प्रारंभिक प्रकाशन 22 फरवरी को किया जाएगा। जनपद एवं जिला पंचायत के निर्वाचन क्षेत्रों के प्रारंभिक प्रकाशन एवं दावे आपत्तियां एवं सुझाव प्रस्तुत करने के लिए अंतिम तिथि 2 मार्च नियत की गई है। जनपद एवं जिला पंचायत के निर्वाचन क्षेत्रों के प्रारंभिक प्रकाशन पर दावे आपत्तियां एवं सुझाव के निराकरण हेतु अंतिम तिथि 7 मार्च नियत की गई है। प्रभावित ग्राम पंचायत जिला पंचायत के निर्वाचन क्षेत्रों के प्रारंभिक प्रकाशन पर प्राप्त सुझावों एवं आपत्तियों का निराकरण एवं अधिसूचना का अंतिम प्रकाशन 10 मार्च 2022 को किया जाएगा।
समाधान ऑनलाईन कार्यक्रम 22 फरवरी को
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में माह के पहले मंगलवार को आयोजित होने वाले समाधान ऑनलाईन कार्यक्रम के आयोजन दिवस तिथि में परिवर्तन किया गया है। प्रमुख सचिव लोक सेवा प्रबंधन ने बताया कि 8 फरवरी को आयोजित होने वाला समाधान ऑनलाईन कार्यक्रम अपरिहार्य कारणों से स्थगित किया गया है। आगामी समाधान ऑनलाईन कार्यक्रम 22 फरवरी 2022 को सायं 4ः30 बजे से आयोजित किया गया है।
उत्तर प्रदेश के मतदाताओं को मतदान के लिये सवैतनिक अवकाश दें, श्रम विभाग ने जारी किये आदेश
उत्तर प्रदेश राज्य विधानसभा आम चुनाव-2022 में मतदान के लिये मध्यप्रदेश के विभिन्न औद्योगिक संस्थानों एवं राजकीय उपक्रमों में नियोजित कामगार, जो उत्तर प्रदेश के मतदाता हैं, को मतदान दिवस पर मतदान के लिये सवैतनिक अवकाश प्रदान करने के निर्देश श्रम आयुक्त मध्यप्रदेश द्वारा जारी किये गये हैं।
निर्देश में कहा गया है कि मध्यप्रदेश राज्य में स्थित औद्योगिक एवं वाणिज्यिक प्रतिष्ठानों तथा अन्य सभी प्रकार के स्थापना के नियोजक उनके संस्थान में कार्यरत ऐसे सभी व्यक्तियों को, जिनमें आकस्मिक एवं दैनिक मजदूर भी सम्मिलित हैं, जो उत्तर प्रदेश राज्य के पंजीकृत मतदाता हैं, उन्हें विधानसभा आम चुनाव-2022 के लिये निर्वाचन आयोग द्वारा निर्धारित मतदान दिवस को सवैतनिक अवकाश प्रदान करें, ताकि उनके द्वारा मतदान के अधिकार का स्वतंत्र एवं निष्पक्ष रूप से उपयोग सुनिश्चित किया जा सके।
उत्तर प्रदेश के सीमावर्ती मध्यप्रदेश के क्षेत्रों में रहेगा मद्यनिषेध
उत्तर प्रदेश निर्वाचन के संबंध में वाणिज्यिक कर विभाग ने जारी किये आदेश
उत्तर प्रदेश राज्य में होने वाले विधानसभा सामान्य निर्वाचन-2022 में मतदान के समाप्त होने के निर्धारित समय से 48 घंटे पूर्व तथा मतगणना तिथि को उत्तर प्रदेश राज्य के सीमावर्ती मध्यप्रदेश के क्षेत्रों में मद्यनिषेध के आदेश वाणिज्यिक कर विभाग द्वारा संबंधित कलेक्टर्स को जारी किये गये हैं।
निर्देशों में कहा गया है कि उत्तर प्रदेश राज्य के सीमावर्ती जिलों से समन्वय कर सीमा से 3 किलोमीटर की दूरी तक के क्षेत्रों में उक्त अवधि में क्षेत्र की सभी शराब दुकानें बंद रखी जायें तथा शराब की बिक्री पर सख्ती से प्रतिबंध लागू हो। सीमावर्ती जिलों में शराब की बिक्री पर नजर रखी जाये, जिससे वहाँ से मतदान क्षेत्र में शराब का परिवहन न होने पाये। मदिरा की दुकानें, होटल, रेस्टोरेंट, क्लब, अन्य बिक्री स्थल आदि में शराब की बिक्री/सेवा न हो। गैर-मालिकाना क्लब, होटल, रेस्टोरेंट, जिनके पास मदिरा का लायसेंस हो, उन्हें भी उक्त अवधि में शराब बिक्री/सेवा की अनुमति नहीं होगी। जो व्यक्ति इस आदेश का उल्लंघन करेगा, उसे 6 माह तक कारावास, 2000 रुपये जुर्माना अथवा दोनों का प्रावधान है।