PM Modi Jammu Visit 2022: digi desk/BHN/जम्मू/ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जम्मू दौरे से पहले यहां दो बड़े आतंकी हमले हुए हैं। पहला हमला जम्मू जिले के जलालाबाद सुंजवां इलाके में शुक्रवार तड़के हुआ। यहां मुठभेड़ में एक सुरक्षाकर्मी शहीद हो गया और चार अन्य (जम्मू-कश्मीर पुलिस के दो जवान और केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआईएसएफ) के दो जवान) घायल हो गए। इसके बाद सुंजवां हमले में मदद करने के लिए 15 सीआईएसएफ जवानों को ले जा रही बस पर ग्रेनेड फेंके गए। इसमें एक जवान घायल हो गया, जबकि जवाबी कार्रवाई में एक आतंकी हमला गया। जम्मू-कश्मीर पुलिस के मुताबिक, यह आत्मघाती हमले की ब़ड़ी साजिश थी, जिसे नाकाम कर दिया गया है। यहां आतंकियों ने यह हरकत करने की कोशिश की है, वो स्थान पीएम मोदी के 24 अप्रैल के कार्यक्रमस्थल से महज 15 किलो मीटर दूर है। इस बीच, भाजपा ने कहा है कि हमलों के कारण पीएम का कार्यक्रम रद्द नहीं होगा, बल्कि अधिक जोर-शोर से होगा।
लश्कर का 12 लाख का इनामी आतंकी दो साथियों सहित ढेर
इससे एक दिन पहले लश्कर-ए-तैयबा का दुर्दांत और 12 लाख के इनामी आतंकी यूसुफ कांतरु अपने दो साथियों सहित गुरुवार को परिसवानी (बारामुला) में हुई मुठभेड़ में मारा गया। दो और आतंकियों के मारे जाने की भी सूचना है। हालांकि पुलिस ने फिलहाल इससे इन्कार करते हुए कहा कि फिलहाल अभियान जारी है। सुरक्षाबलों की घेराबंदी में फंसे आतंकियों में एक आतंकी नाबालिग है, जिसके स्वजन उससे बार-बार आत्मसमर्पण की अपील कर रहे थे। मुठभेड़ में एक सैन्याधिकारी समेत चार जवान और एक नागरिक भी जख्मी हुआ है। जिला बड़गाम निवासी युसूफ कांतरु उर्फ इस्स कांतरु कश्मीर में सक्रिय सबसे पुराने आतंकियों में था। डबल ए श्रेणी के आतंकियों में सूचीबद्ध युसूफ कांतरु लश्कर का डिवीजनल कमांडर था। वह वर्ष 2005 में पहली बार आतंकी बना था। वह दो बार पकड़ा गया और जेल से छूटने के बाद फिर आतंकी गतिविधियों में सक्रिय हो जाता था। वर्ष 2016 के अंत में वह तीसरी बार आतंकी बना। इसके बाद से कई बार सुरक्षाबलों की घेराबंदी में फंसा और मुठभेड़ में जख्मी हुआ, लेकिन हर बार बच निकलने में कामयाब रहा।