तीन बोरे पानी के अंदर ही हैं जिसे सोमवार की सुबह निकाला जाएगा
सीधी, भास्कर हिंदी न्यूज़/ संजय टाइगर रिजर्व में 15 दिन पहले लापता बाघिन टी-30 का दो बोरे में तीन पैर रविवार की सुबह गोपद नदी मिले है। अभी तीन बोरा पानी के अंदर ही हैं जिसे सोमवार की सुबह निकाला जाएगा। तीन पैरों का दाह संस्कार पनघटा में कर दिया गया है। बाघिन की मौत करंट लगने से हुई है। टीम ने तीन आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है बाकी की तलाश की जा रही है। इस पूरे मामले में 12 आरोपियों के शामिल होने के संदेह है। बता दें कि संजय टाइगर रिजर्व की बाघिन टी 30 की 5 नवंबर रात 11ः30 बजे बंजारी गांव में आखरी लोकेशन मिली थी, और 12 बजे रात की घटना बताई गई है। आरोपियों की तलाश के लिए सीधी एवं सिंगरौली जिले की टीम में सौ की संख्या में अधिकारी कर्मचारी तैनात किए गए हैं।
वायपी सिंह सीसीएफ संजय टाइगर रिजर्व ने दुबरी ने बताया कि बाघिन टी 30 का शिकार करंट लगने से हुआ है। आरोपियो ने ढाई किलोमीटर एरिया में करंट फैलाया था। बाघिन के मौत के बाद आरोपियों ने शव को पहले बंजारी गांव में गड्ढा खोदकर दफना दिया था। 8-9 नवंबर की रात गड्ढे से शव को निकालकर कई हिस्से में काटकर अलग-अलग अंगों को बोरे में भरकर गोपद नदी में डाल दिया था। एक आरोपी ने यह बात पूछताछ के दौरान बताया है।
दो बोरे में मिले तीन पैर
बाघिन टी 30 का आगे का एक पैर और पीछे का दोनों पैर दो बोरे में मिला है। जिसमें नाखून मौजूद रहे हैं। तो वही तीन बोरे सोमवार की सुबह निकाले जाएंगे इसके बाद ही स्पष्ट हो पाएगा कि शव का कौन सा अंग गायब किया गया है।
नदी में 12 फीट नीचे था बोरा
दरअसल 8 और 9 नवंबर की रात आरोपियों ने बोरे को ले जाकर गोपद नदी के हाथी खरखटी स्थित स्थान पर पांच बोरा डाल दिया था। बोरा नहीं में बाघिन के कटे अंग के साथ पत्थर के बड़े-बड़े टुकड़े डाला था। तेज बहाव के कारण नदी में 10 से 12 फीट नीचे बोरा पहुंच गया है।
नदी में कूद पड़ा डाग
रविवार की सुबह बाघिन टी 30 के शव की तलाश संजय टाइगर रिजर्व सहित अन्य वन अमला अपने डॉग स्कॉड अपोलो को लेकर जैसे ही गोपद नदी के पास पहुंचा, नदी में पहुंचते ही वह नदी में कूद पड़ा और बोरे को ढूंढ निकाला जिसमें बाघिन के अलग-अलग अंग थे।