सतना/भोपाल, भास्कर हिंदी न्यूज़/ मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि 30 दिन में उद्योग प्रारंभ करने के संबंध में जो भी प्रक्रिया तय की गई हैं, उनका क्रियान्वयन समय-सीमा में सुनिश्चित किया जाए। उद्योगों को भूमि आवंटन की प्रक्रिया में विलंब नहीं हो। नगर पालिका, नगर पंचायत स्तर पर प्रकरण नहीं लटके। जो कार्य 30 दिन में किए जा सकते हों, उन्हें ही स्टार्ट योर बिजनेस इन 30 डेज में सम्मिलित किया जाए। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने विभागों की गतिविधियों का थर्ड पार्टी एसेसमेंट कराने के निर्देश भी दिए। मुख्यमंत्री श्री चौहान गत दिवस मंत्रालय में आत्म-निर्भर मध्य प्रदेश के अंतर्गत प्रदेश में 30 दिवस में उद्योग आरंभ करने की सुविधा के संबंध में लिए गए निर्णयों की समीक्षा कर रहे थे।
‘‘स्टार्ट योर बिजनेस इन 30 डेज’’ कार्यक्रम में 9 विभाग की 45 सेवाओं को चिन्हित किया गया है। इनमें ऊर्जा विभाग की चार, श्रम विभाग की नौ, खाद्य नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण विभाग (नियंत्रक नाप तौल) की चार, वाणिज्य कर विभाग की एक, राजस्व विभाग की एक, औद्योगिक नीति एवं निवेश प्रोत्साहन विभाग की 14 सेवाएँ सम्मिलित हैं। साथ ही पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग की एक, नगरीय विकास एवं आवास विभाग की पाँच और पर्यावरण विभाग अर्थात मध्यप्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की 6 सेवाओं को सम्मिलित किया गया है।
सुकन्या खाते खुलवाकर’ ’बेटियों को समर्द्ध करने का आव्हान’
‘सुकन्या समृद्धि खाता खुलवाएं, घर-घर में खुशहाली लाएं’’ की अवधारणा के साथ भारत सरकार द्वारा बेटी बचाओ एवं बेटी पढ़ाओ के तहत बालिकाओं की उच्च शिक्षा तथा विवाह हेतु व्यवस्था को ध्यान में रखते हुए यह योजना शुरू की गई है।
इस योजना के अन्तर्गत जन्म से लेकर 10 वर्ष की आयु तक की बेटियों का खाता खुलवाया जा सकता है, जमाकर्ता बेटी के नाम से एक ही खाता खोल सकता है। यदि माता-पिता या संरक्षक दो बेटियों के अलग-अलग एक खाता खोल सकते हैं, यदि जुड़वा बेटियां है तो जन्म प्रमाण पत्र प्रस्तुत करने पर तीसरा खाता भी खोला जा सकता है, यह खाता एक वित्तीय वर्ष में 250 रूपये से शुरू किया जा सकता है। बच्ची की उम्र 18 वर्ष पूर्ण होने पर सुकन्या समृद्वि खाता में जमा राशि का 50 प्रतिशत राशि निकाला जा सकता है।
बेटी की उम्र 21 वर्ष पूर्ण होने पर खाता परिपक्व होगा, बालिका का विवाह 18 वर्ष के बाद या 21 वर्ष के पहले होता है, तो खाता बंद कर दिया जाएगा और ब्याज सहित समस्त रकम दे दी जाएगी। इसी प्रकार इस योजना से आयकर में छूट का लाभ भी मिलता है और देश के किसी भी हिस्से में स्थानातांरित किया जा सकता है। खाता खोलने के लिए जरूरी दस्तावेज, जन्म प्रमाण पत्र, माता-पिता का फोटो पहचान पत्र, एड्रेस प्रूफ और माता-पिता की फोटो आवश्यक है। खाते मे न्यूनतम 250 रूपये अधिकतम 1 लाख 50 हजार रूपये वार्षिक जमा किया जा सकता है। इस खाते की अवधि कुल 21 वर्ष है।
फसल अवशेष नरवाई न जलायें, यह जैविक खाद बनाने में है उपयोगी
उप संचालक कृषि ने जिले के किसानों से नरवाई न जलाने की अपील की है। उन्होंने कहा है कि फसल काटने के बाद बचे हुए अवशेष (नरवाई) न जलाएं। नरवाई जलाने से एक ओर जहां खेतों में अग्नि दुर्घटना की आशंका रहती है, वहीं मिट्टी की उर्वरकता पर भी विपरीत असर पड़ता है। इसके साथ ही धुएँ से कार्बन-डाय-ऑक्साइड से तापमान बढ़ता है और वायु प्रदूषण भी होता है। मिट्टी की उर्वरा लगभग 6 इंच की ऊपरी सतह पर ही होती है। इसमें खेती के लिए लाभदायक मित्र जीवाणु उपस्थित रहते हैं।
नरवाई जलाने से यह नष्ट हो जाते हैं, जिससे भूमि की उर्वरा शक्ति को नुकसान होता है। नरवाई जलाने के बजाए यदि फसल अवशेषों को एकत्रित करके जैविक खाद बनाने में उपयोग किये जाय तो यह बहुत लाभदायक होगा। नाडेप तथा वर्मी विधि से नरवाई से जैविक खाद आसानी से बनाई जा सकती है। इस खाद में फसलों के लिए पर्याप्त पोषक तत्व रहते हैं। इसके आलावा खेत में रोटावेटर अथवा डिस्क हैरो चलाकर भी फसल के बचे हुए भाग को मिट्टी में मिला देने से मिट्टी की गुणवत्ता में सुधार होता है।