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कोरोना कर्फ्यू बढ़ाये जाने पर आपदा प्रबंधन कमेटी ने जताई सहमति

  • जिले के जनप्रतिनिधि करेंगे अपील, देंगे समझाईस
  • जिला आपदा प्रबंधन समिति में एक मत से निर्णय

सतना, भास्कर हिंदी न्यूज़/ कोरोना नियंत्रण मामले के जिले के प्रभारी मंत्री रामखेलावन पटेल ने कहा कि कोरोना संक्रमण की चेन तोड़ने और जिले में संक्रमितों की बढ़ रही संख्या के मद्देनजर कोरोना कर्फ्यू का सख्ती से पालन अनिवार्य हो गया है। जिले के प्रभारी मंत्री श्री पटेल की अध्यक्षता में गुरूवार को कलेक्ट्रेट में संपन्न जिला संकट प्रबंधन समूह की बैठक में एक मतेन निर्णय लिया गया कि शादी-विवाह एवं अन्य सामूहिक आयोजन कोरोना संक्रमण के प्रसार के कारक बन रहे हैं। पूरे जिले में शादी-विवाह सहित सभी प्रकार के धार्मिक, सांस्कृतिक, सामाजिक कार्यक्रमों के आयोजन पर 31 मई तक सख्ती से रोक लगाई जाये। जिले के व्यक्ति अन्य शहरों या राज्यों में ऐसे आयोजनों में शामिल होने नहीं जायें। इस आशय की अपील भी जिले के सभी जनप्रतिनिधि आम जनता से करेंगे।

बैठक में सांसद गणेश सिंह, विधायक मैहर नारायण त्रिपाठी, विधायक रामपुर बघेलान विक्रम सिंह, विधायक चित्रकूट नीलांशु चतुर्वेदी, कलेक्टर अजय कटेसरिया, पुलिस अधीक्षक धर्मवीर सिंह, अपर कलेक्टर सुश्री विमलेश सिंह, पूर्व विधायक शंकरलाल तिवारी, समिति के सदस्य योगेश ताम्रकार, नरेन्द्र त्रिपाठी, मकसूद अहमद, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ अशोक अवधिया, सिविल सर्जन डॉ रेखा त्रिपाठी, प्रशासक अस्पताल डॉ एसबी सिंह, कोविड प्रभारी डॉ अमर सिंह, आईएमए के अध्यक्ष डॉ पीके श्रीवास्तव भी उपस्थित थे।

प्रभारी मंत्री श्री पटेल ने कहा कि सतना जिले में कोरोना संक्रमण की दर आसपास के जिलों से अपेक्षाकृत कम है। किंतु कुछ समय से संक्रमण की दर का स्थिर बने रहना, चिंता का विषय है। उन्होने कहा कि कोरोना के नियंत्रण और इसे कम करने का एकमात्र उपाय संक्रमण की चेन तोड़ना है। रीवा और सिंगरौली जिले की तरह अंतर-जिला बस सेवायें भी सीमित की जा सकती है। इसके अलावा ट्रेन के समय पर सभी तहसील मुख्यालय पर जाने वाली एक या दो बसों के संचालन की अनुमति दी जाये। अंतर्राज्यीय और अंतर-जिला सीमा को भी सील किया जा सकता है। जिले में शादी-विवाह, धार्मिक, सांस्कृतिक, सामूहिक कार्यक्रमों में पूरी तरह से 31 मई तक रोक लगायें। जनप्रतिनिधि भी अपील करेंगे कि ऐसे आयोजनों में शामिल होने से बचें। प्रभारी मंत्री श्री पटेल ने कहा कि कोरोना संक्रमण का दौर निर्णायक मोड़ पर है। सख्ती से प्रहार कर कोरोना संक्रमण की चेन को जन सहयोग से तोड़ सकते हैं। उन्होने कहा कि ऑटो एवं बसों में ओव्हर लोडिंग नहीं हो, सभी यात्री मास्क लगाकर सोशल डिस्टेंस का भी पालन करें।

जिले के बाहर से आने वाले व्यक्तियों को 10 दिन के लिए क्वारेंटाइन करें। अस्थि विसर्जन के लिए प्रयागराज जाने के वाहन में केवल 3 व्यक्तियों को अनुमति दें। जिला अस्पताल में कोविड ओपीडी या भर्ती के लिए 3 डॉक्टरों की रोस्टर वाइज ड्यूटी लगा कर संपर्क नंबर जारी किए जाएं। राज्य शासन के निर्देशानुसार सभी गरीब परिवारों को 3 माह का खाद्यान्न मुफ्त वितरण किया जाए। जिले में 16 मई तक कोरोना कर्फ्यू बढ़ाया जाए। संक्रमित क्षेत्रों में कंटेनमेंट जोन बनाएं। संक्रमित दर के कम होने पर कोरोना कर्फ्यू में ढील पर विचार किया जाएगा। गेहूं खरीदी केंद्रों पर राजस्व अधिकारियों का भ्रमण कराकर व्यवस्थाएं भी दिखवाने के निर्देश प्रभारी मंत्री ने दिए।

सांसद गणेश सिंह ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में विशेषकर हॉटस्पॉट में रेंडम सैंपलिंग और किल कोरोना-2 अभियान में ग्राम स्तरीय दलों द्वारा घर-घर सर्वे कर सर्दी, खांसी, बुखार के रोगियों का परीक्षण कराकर मेडिकल किट प्रदान की जाए और आवश्यकतानुसार कोरोना जांच कर होम आइसोलेशन किट दी जाए। सांसद श्री सिंह ने कहा कि यह संकट का समय है। डॉक्टर और मेडिकल स्टाफ का मनोबल बढ़ाएं और कोरोना कर्फ्यू में सख्ती बरतें। तभी कोरोना संक्रमण की दर और कोरोना की अगली लहर को रोकने में कामयाब हो सकेंगे। उन्होंने कहा कि संकट के समय एकजुट होकर सभी को जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग का साथ देना होगा।

विधायक नारायण त्रिपाठी ने कहा कि तहसील स्तर के स्वास्थ्य केंद्र में 20-20 बेड के मान से ऑक्सीजन प्लांट लगाने, एंबुलेंस और शव वाहन की उपलब्धता के प्रयास होने चाहिए। इन सुविधाओं के लिए जनसहयोग, जनभागीदारी से भी प्रयास कर सकते हैं। जिला संकट प्रबंधन समूह की बैठक में विधायक विक्रम सिंह, नीलांशु चतुर्वेदी, पूर्व विधायक शंकरलाल तिवारी, समिति सदस्य योगेश ताम्रकार, नरेंद्र त्रिपाठी, मकसूद अहमद ने भी कोरोना संक्रमण के नियंत्रण एवं उपचार सेवाओं के संबंध में सुझाव दिए।

जिला अस्पताल के प्रशासक डॉ एसबी सिंह और डॉ पीके श्रीवास्तव ने बताया कि पॉजिटिव और निगेटिव रोगियों के पृथक-पृथक उपचार, वेंटिलेटर चलाने कार्मिकों को प्रशिक्षण दिया जाकर अच्छी उपचार सेवाएं देने के प्रयास होंगे, ताकि मृत्यु दर को कम कर सकें। आईएमए के 12 विविध चिकित्सा विशेषज्ञ चिकित्सक फोन पर उमरिया, कटनी, पन्ना, सीधी सहित सतना जिले के कोविड रोगियों को प्रतिदिन अपने-अपने स्लॉट पर परामर्श देकर 400-500 लोगों को निःशुल्क परामर्श दे रहे हैं।

कलेक्टर अजय कटेसरिया ने जिले में कोरोना नियंत्रण एवं उपचार सेवाओं की जानकारी में बताया कि सतना जिले की पॉजिटिविटी दर आसपास के जिलों से कम है, किंतु 19 प्रतिशत पर स्थिर बनी हुई है। सबसे ज्यादा रामनगर क्षेत्र में 34 प्रतिशत, सतना शहर में 26 प्रतिशत, मझगवां में 22.5 प्रतिशत, उचेहरा में 19 प्रतिशत पॉजिटिविटी दर है। जबकि नागौद, रामपुर बघेलान, अमरपाटन, मैहर में सबसे कम 13-14 प्रतिशत है। उन्होंने बताया कि रैपिड एंटीजन टेस्ट आईसीएमआर द्वारा प्राइवेट लैब को भी अनुमत्य कर दी गई है। जिला अस्पताल में 20 ऑक्सीजन कंसंट्रेटर आज प्राप्त हुए हैं। सिलेंडर किट 200 का क्रयादेश किया गया है। किट प्राप्त हो जाने पर होम आइसोलेशन मरीजों को भी ऑक्सीजन की सुविधा डॉक्टर के परामर्श और निगरानी में दे सकेंगे। किल कोरोना अभियान के तहत ग्राम स्तरीय सर्वे दलों द्वारा घर-घर जांच की जा रही है और मेडीकल किट भी दी जा रही है।

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