- जिला प्रबंधक की लॉगइन आईडी का उपयोग कर टीसी की गई थी डायवर्ट
- जिला प्रबंधक ने धारकुंडी थाने में एक दिन पहले दर्ज कराई थी एफआईआर
सतना, भास्कर हिंदी न्यूज़/ समर्थन मूल्य में चल रहे गेहूं उपार्जन के दौरान 93 लाख का घोटाला सामने आने के बाद अब विभागीय कार्यवाहियों का दौर शुरू हो गया। घोटाले के मामले में फिलहाल जिला प्रबंधक अमित गौड़ फरियादी थे और धारकुंडी थाने में उन्होंने दोषियों के विरूद्ध एफआईआर कायम कराई थी मगर अब मध्य प्रदेश स्टेट सिविल सप्लाईज कार्पोरेशन लिमिटेड मुख्यालय भोपाल के प्रबंधन संचालक ने उन्हें दोषी मानते हुए निलंबित कर दिया। अमित गौड़ जिला प्रबंधक सतना के तौर पर छ: महीने पूर्व ही पदस्थ किए गए थे और उन्हें 3860 क्विंटल गेहूं के फर्जीवाड़े में निगरानी न बरतने का जिम्मेदार मानते हुए निलंबन की कार्यवाही की गई।
प्रबंध संचालक प्रताप नारायण यादव ने पत्र क्रमांक 2024/331 जारी कर अमित गौड़ को निलंबित करने का आदेश देने के साथ ही क्षेत्रीय कार्यालय जबलपुर से अटैच कर दिया है। ज्ञात हो कि गेहूं घोटाले को अंजाम देने के लिए आरोपियों ने इनकी लॉगइन आईडी का उपयोग किया था।
उधर घोटाले के आरोपी ने भी उगला राज
गेहूं घोटाले में मुख्य आरोपी धारकुंडी पुलिस ने शिवा सिंह पटेल को माना है। इसके साथ ही कुल आठ लोगों के खिलाफ धोखाधड़ी और आपराधिक षडयंत्र का प्रकरण कायम किया गया था। अब शिवा सिंह पटेल ने कलेक्टर को आवेदन देकर घोटाले में डीएम नान के शामिल होने के भी संगीन आरोप लगाए हैं। कहा जाता है कि आरोपी ने कलेक्टर को दिए गए आवेदन में लगभग 19 लोगों के नाम का जिक्र किया है। जिसमें सतना के पूर्व प्रभारी डीएसओ नागेन्द्र सिंह के करीबी संजय तिवारी का भी नाम शामिल किया गया है। शिवा ने सभी के मोबाइल नम्बर उपलब्ध कराते हुए इनकी साइबर एवं फोरेंसिक विभाग से जांच की मांग रखी है।
आरोपियों की तलाश में जुटी पुलिस
धारकुंडी थाना पुलिस ने कारीगोही के जैतमाल बाबा महिला स्व सहायता समूह से मिलीभगत कर 93 लाख का गेहूं घोटाला करने के आरोपियों की तलाश शुरू कर दी है। धारकुंडी थाना प्रभारी अभिषेक पांडे ने बताया कि प्रकरण से जुड़े आरोपियों की तलाश जारी है, जल्द ही उन्हें गिरफ्तार किया जाएगा।