सतना, भास्कर हिंदी न्यूज़। सिंहपुर थाने में चोरी के एक संदेही की गैर इरादतन हत्या के मामले में फरार निलंबित दरोगा विक्रम पाठक तथा आरक्षक आशीष सिंह के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी होने के जब आरोपियों को गिरफ्तार करने में असफल पुलिस विभाग के आला अधिकारियों ने जहाँ इनाम की राशि 20,000 कर दी है वहीं दोनों आरोपियों पर शिकंजा कसने के लिए न्यायालय में चल एवम अचल संपत्ति की कुर्की करने का आवेदन दिया है। जिस पर न्यायालय ने फरार दरोगा विक्रम पाठक का बैंक खाता जिसमे 80,000 रुपये जमा है उसको सीज करने तथा आरोपी आरक्षक आशीष सिंह की मोहनिया स्थित आराजी की कुर्की के आदेश जारी किए हैं।
उल्लेखनीय है कि गैर इरादतन हत्या के आरोपी निलंबित थानेदार और आरक्षक गिरप्तारी वारंट जारी होने के बाद लगातार फरार चल रहे हैं। पुलिस अधीक्षक धर्मवीर सिंह के द्वारा गठित पुलिस टीम के ने कटिहार, पटना, सुल्तानपुर, बनारस, सागर, दमोह व अन्य जगहों में छापेमारी कर निलंबित थानेदार विक्रम पाठक और आरक्षक आशीष सिंह की तलाश की, टीम दोनों के पैतृक गांव भी गयी ताकि गिरफ्तारी वारंट को तामील कराया जा सके लेकिन दोनों लगातार पुलिस से बचते फिर रहे हैं। सcourtपुलिस के द्वारा फरारी पंचनामा पेश किए जाने के उपरांत अदालत ने दोनों के विरुद्ध धारा 82 crpc के तहत फरारी की उद्घोषणा जारी की थी एवं आरोपियों को उपस्थित होने के लिए एक महीने का समय दिया गया ।उद्घोषणा की तामीली हेतु जारी उद्घोषणा को न्यायालय , आरोपीगण के घर , बस स्टेंड एवं अन्य स्थानों पर चस्पा किया गया इसके बावजूद आरोपीगण ना तो माननीय न्यायालय के समक्ष उपस्थित हुए और ना ही विवेचनाअधिकारी के सामने पहुंचे।
बुधवार को प्रकरण के विवेचक पी. एस. परस्ते, एसडीओपी सिरमौर द्वारा नागौद न्यायालय मे उपस्थित होकर आरोपियों की चल, अचल संपत्ति का ब्यौरा प्रस्तुत कर उक्त संपत्ति को कुर्क करने का प्रतिवेदन दिया गया। जिस पर न्यायालय ने फरार आरोपी आशीष सिंह की ग्राम मोहनिया हल्का नौगांव तहसील मैहर जिला सतना मे स्थित आराजी नंबर 70/1/1/क/1 एवं 70/1/2 को कुर्क करने तथा आरोपी विक्रम पाठक के खाता को फ्रीज कर उपलब्द्ध रुपए लगभग 80000 रुपए को भी सीज करने का आदेश दिया है।
इस मामले में आरोपी विक्रम की अचल संपत्ति की कार्यपालिक मजिस्ट्रेट सागर से जानकारी ली गयी तो जानकारी मिली कि आरोपी विक्रम के नाम कोई अचल संपति नही है। आरोपियों की अन्य और संपत्ति का पता लगाया जा रहा है।
गौरतलब है कि आरोपियों पर शपुलिस अधीक्षक द्वारा एक एसआईटी टीम गठित कर ₹5000 -5000 का इनाम भी घोषित किया गया था। इसके पुलिस उपमहानिरीक्षक रीवा जोन द्वारा ₹20000 -20000 का ईनाम भी घोषित किया गया है।
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