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पृथक-पृथक होगी 5% से अधिक व 5% से कम संक्रमण वाले जिलों की अनलॉक गाइडलाईन-शिवराज सिंह चौहान

कोविड के विरूद्ध लड़ाई को जन-आंदोलन बनाएं, संक्रमण बढ़ा तो पुनः लागू होंगे प्रतिबंध

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने ‘‘अनलॉक’’ के संबंध में प्रभारी मंत्री, प्रभारी अधिकारी,
संभाग और जिलों के अधिकारियों से चर्चा की

सतना,भास्कर हिंदी न्यूज़/ मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि 1 जून से प्रदेश में अनलॉक की प्रक्रिया प्रारंभ हो रही है। अनलॉक के संबंध में मंत्री समूहों द्वारा दी गई अनुशंसाओं को सभी क्राइसिस मैनेजमेंट समूहों को भिजवा दिया गया है। इन पर 30 मई को शाम तक सभी क्राइसिस मैनेजमेंट समूह चर्चा कर अनलॉक प्रक्रिया के संबंध में निर्णय लेकर 31 मई को जन-सामान्य को अवगत करा देंगे।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि प्रदेश के 5 प्रतिशत से अधिक संक्रमण वाले तथा 5 प्रतिशत से कम संक्रमण वाले जिलों के लिए अनलॉक की पृथक-पृथक गाइड लाइन होगी। प्रदेश के इंदौर, भोपाल, सागर तथा मुरैना जिलों में 5 प्रतिशत से अधिक संक्रमण है। यदि कही भी संक्रमण बढ़ता है तो प्रतिबंध पुनः लागू किए जाएंगे।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि कोरोना के विरूद्ध लड़ाई को प्रदेश में जन-आंदोलन बनाना है। हर व्यक्ति कोविड अनुसार व्यवहार करे तथा सभी का टीकाकरण किया जाए। हर व्यक्ति अपने परिवार, गाँव व शहर को कोरोना संक्रमण से बचाए। मास्क लगाने, दूरी रखने, बार-बार हाथ साफ करने आदि को अपने जीवन का अनिवार्य हिस्सा बनाना होगा।

मुख्यमंत्री श्री चौहान शनिवार को निवास से वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से प्रदेश में ‘‘अनलॉक’’ के संबंध में प्रभारी मंत्रियों, प्रभारी अधिकारियों, कमिश्नर, आई.जी., कलेक्टर, पुलिस अधीक्षकों से चर्चा कर रहे थे। वीडियो कॉन्फ्रेसिंग में सतना जिले के एनआईसी कक्ष से कलेक्टर अजय कटेसरिया एवं पुलिस अधीक्षक धर्मवीर सिंह उपस्थित थे।

घूमने न दें एक भी संक्रमित व्यक्ति को

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि इस बात का पूरा ध्यान रखा जाए कि एक भी संक्रमित मरीज बाहर न घूमे। अधिक से अधिक टेस्टिंग कर हर मरीज की पहचान करनी है तथा हर कोविड मरीज को होम आइसोलेशन, कोविड केयर सेंटर में रखना है तथा जरूरत होने पर अस्पताल में इलाज करना है। जहाँ भी संक्रमण हो वहाँ माइक्रो कंटेनमेंट क्षेत्र बनाएं। हर पॉजिटिव मरीज की कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग की जाए।

किल कोरोना अभियान-4 चलता रहेगा

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्रों में किल कोरोना अभियान चालू रहेगा। सर्दी, जुकाम, खाँसी आदि के मरीजों की पहचान कर उन्हें निःशुल्क मेडिकल किट देकर इलाज प्रारंभ किया जाएगा।

टीकाकरण के प्रति जागरूकता पैदा करनी है

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि टीकाकरण कोविड के विरूद्ध सुरक्षा चक्र का कार्य करता है। टीकाकरण के प्रति सभी भ्रान्तियों को दूर कर जागरूकता पैदा करें। 18 वर्ष व अधिक उम्र का हर व्यक्ति टीका लगवाए। यह भी ध्यान रखा जाए कि वैक्सीन का एक भी डोज बेकार न जाए। बचे हुए डोजे़ज को बिना पूर्व पंजीयन के लगाया जाए।

कंटेनमेंट जोन बनाएं

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने निर्देश दिए कि ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्रों में संक्रमण अनुसार रेड, ग्रीन एवं येलो जोन बनाए जाएं तथा उसके अनुसार प्रतिबंध लागू रहें। दो या चार घरों पर भी माइक्रो कंटेनमेंट जोन बनाए जा सकते हैं। संक्रमण को किसी भी हालत में फैलने न दें।

मुख्यमंत्री कोविड-19 अनुकम्पा नियुक्ति योजना का आदेश जारी

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की घोषणा अनुसार राज्य शासन ने उसके नियोजन में कार्यरत समस्त नियमित, स्थाईकर्मी, कार्यभारित एवं आकस्मिकता से वेतन पाने वाले, दैनिक वेतनभोगी, तदर्थ, संविदा, कलेक्टर दर, आउटसोर्स अथवा मानदेय के रूप में कार्यरत शासकीय सेवक या सेवायुक्तों के लिये मुख्यमंत्री कोविड-19 अनुकम्पा नियुक्ति योजना लागू कर दी है। सेवायुक्तों की कोविड संक्रमण से मृत्यु होने पर उनके परिवार के पात्र एक सदस्य को योजना में विहित प्रावधान के अनुसार उसी प्रकार के नियोजन में अनुकम्पा नियुक्ति दी जायेगी, जिसमें मृत सेवक नियोजित था।

पात्र कर्मी

राज्य के समस्त नियमित, स्थाईकर्मी, कार्यभारित एवं आकस्मिकता से वेतन पाने वाले, दैनिक वेतन भोगी, तदर्थ, संविदा, कलेक्टर दर पर कार्यरत सेवक, जिनका वेतन, मानदेय या पारिश्रमिक का भुगतान राज्य की संचित निधि से विकलनीय हो। विभागों द्वारा सक्षम स्वीकृति एवं निर्धारित प्रक्रिया के तहत ली गई आउटसोर्स सेवाओं पर कार्यरत सेवायुक्त, जिनका पारिश्रमिक या मानदेय आदि का भुगतान राज्य की संचित निधि से विकलनीय हो। विधि द्वारा स्थापित आयोग, ऐसी संस्थाएँ, जिनका शत-प्रतिशत स्थापना व्यय राज्य के नियमित स्थापना मद से विकलनीय होता है अथवा इसके लिये स्थापना अनुदान दिया जाता है, उनमें कार्यरत सेवायुक्त पात्र होंगे।

पात्रता की शर्तें

मृतक सेवायुक्त मान्य चिकित्सीय जाँच में (आरएटी या आरटीपीसीआर) कोविड-19 पॉजिटिव पाया गया हो तथा उसकी मृत्यु उपचार के दौरान हुई हो अथवा स्वस्थ होने के बाद पॉजिटिव होने के साठ दिन के भीतर किसी भी बीमारी से मृत्यु हो गयी हो। मृत्यु की तिथि पर वह शासन के नियोजन या शासकीय कार्य में कार्यरत हो। मृतक सेवायुक्त शासकीय कार्य में पूर्णकालिक रूप से नियोजित होना चाहिये।
योजना में अनुकम्पा नियुक्ति के लिये परिवार के सदस्य की पात्रता का निर्धारण सामान्य प्रशासन विभाग के परिपत्र 29 सितम्बर 2014 की कण्डिका-2 के अनुसार होगा। मृतक शासकीय सेवक या सेवायुक्त के पात्र आश्रित को अनुकम्पा नियुक्ति देने में आयु का बंधन नहीं होगा। दिवंगत शासकीय सेवक या सेवायुक्त के परिवार का कोई भी सदस्य यदि पूर्व से शासकीय सेवा अथवा निगम, मण्डल, परिषद, आयोग आदि में नियमित सेवा में नियोजित हो, तो वह अनुकम्पा नियुक्ति के लिये अपात्र होगा। यदि किसी शासकीय सेवक या सेवायुक्त की मृत्यु अधिवार्षिकी आयु पूर्ण करने के बाद सेवावृद्धि, पुनर्नियुक्ति या संविदा नियुक्ति के दौरान होती है, तो अनुकम्पा नियुक्ति के लिये अपात्र होगा। जिन परिवार को मुख्यमंत्री कोरोना योद्धा योजना के अंतर्गत 50 लाख रुपये प्राप्त करने की पात्रता है, उन्हें इस योजना का लाभ नहीं दिया जायेगा।

योजना की अवधि

योजना एक मार्च 2021 से लागू होगी और 30 जून 2021 तक लागू रहेगी। अगर सेवायुक्त योजनावधि में कोविड-19 पॉजिटिव था, लेकिन उसकी मृत्यु योजनावधि समाप्त होने के पश्चात परंतु कोविड-19 पॉजिटिव होने के 60 दिन के भीतर हो जाती है तब भी अनुकम्पा नियुक्ति की पात्रता होगी।

अनुकम्पा नियुक्ति के पद

योजना में कार्यरत सेवक की मृत्यु होने पर उसके परिवार के पात्र सदस्य को उसके द्वारा धारित योग्यता एवं अर्हता के आधार पर वर्ग-3 (गैर कार्यपालिक पद) अथवा वर्ग-4 अथवा इसके समतुल्य पदों पर उसी प्रकार के नियोजन में अनुकम्पा नियुक्ति दी जायेगी, जिस प्रकार के नियोजन में मृतक सेवक नियोजित था।

मृतक सेवक के नियोजन का प्रकार

नियमित, कार्यभारित एवं आकस्मिकता अंतर्गत, संविदा, दैनिक वेतनभोगी/कलेक्टर दर/आउटसोर्स/मानदेय

पात्र आश्रित के नियोजन का प्रकार

नियमित, कार्यभारित एवं आकस्मिकता अंतर्गत, संविदा, आउटसोर्स

अनुकम्पा नियुक्ति की प्रक्रिया

अनुकम्पा नियुक्ति के लिये आवेदन-पत्र उस कार्यालय प्रमुख अथवा विभाग प्रमुख, जिसमें दिवंगत सेवायुक्त अपनी मृत्यु के पूर्व कार्यरत था, को प्रस्तुत किया जायेगा। आवेदन मृत्यु दिनांक से 4 माह के भीतर प्रस्तुत करना आवश्यक होगा। अपरिहार्य स्थिति में विलम्ब के कारणों से संतुष्ट होने पर दावा स्वीकृति के लिये सक्षम प्राधिकारी अधिकतम तीन माह तक का विलम्ब माफ कर सकेंगे। अनुकम्पा नियुक्ति के आवेदनों के निपटारे के लिये ऐसे आवेदकों की एक सूची संबंधित कार्यालय या विभाग में बनाई जायेगी एवं इसका क्रम दिवंगत सेवायुक्त की मृत्यु के दिनांक से निर्धारित किया जायेगा, अर्थात जो सेवायुक्त पहले दिवंगत हुआ है, उसके आश्रितों को पहले अनुकम्पा नियुक्ति आरक्षण नियमों का पालन करते हुए दी जायेगी।
सांख्येत्तर पद निर्मित करने की अनुमति शासन द्वारा गठित समिति द्वारा दी जायेगी। समिति के अध्यक्ष मुख्य सचिव होंगे। समिति में प्रमुख सचिव, वित्त और विभागीय प्रमुख सचिव/सचिव सदस्य होंगे। अपर मुख्य सचिव, सामान्य प्रशासन विभाग सदस्य सचिव होंगे। दिवंगत सेवायुक्त के परिवार को शपथ-पत्र पर उस सदस्य का नाम देना होगा, जिसको अनुकम्पा नियुक्ति दी जाना है।

 

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