सीधी,भास्कर हिंदी न्यूज़/ मनरेगा बिल पास कराने के एवज में जनपद सीईओ जवा रिश्वत की मांग कर रहे थे। लोकायुक्त टीम रीवा मंगलवार सुबह इनके शासकीय आवास पर दस हजार रुपये रिश्वत लेते रंगे हाथ पकड़ा है। इसके पहले पांच हजार की रिश्वत सीईओ द्वारा ली जा चुकी थी। इस कार्रवाई के बाद से जनपद कार्यालय समेत जिला पंचायत रीवा में हड़कंप मचा हुआ है। यह कार्रवाई लोकायुक्त निरीक्षक जियाउल हक की 15 सदस्यीय टीम ने किया है।
बता दें कि रेवा प्रसाद द्विवेदी पुत्र जगदंबा प्रसाद द्विवेदी 34 वर्ष निवासी रौली तहसील जवा ने लोकायुक्त कार्यालय रीवा में शिकायत दर्ज कराया था कि वह मनरेगा के तहत ग्राम पंचायत में निर्माण कार्य कराया है। निर्माण कार्यों के बिल को पास करने के लिए जनपद पंचायत सीईओ अरुण भारद्वाज 15000 रिश्वत के मांग कर रहे थे जिस की पहली किस्त पांच हजार रुपये रिश्वत पहले दे चुके हैं। इसके बाद से वह लगातार फिर बची हुई रिश्वत दस हजार की मांग कर रहे हैं।
शिकायत के बाद लोकायुक्त टीम ने पूरे मामले को बारीकी से जांच किया। जांच के दौरान शिकायत सही पाई गई और मंगलवार की सुबह जनपद पंचायत सीईओ अरुण मिश्रा के शासकीय आवास में लोकायुक्त टीम ने छापामार कार्रवाई किया। सीईओ को दस हजार रूपये रिश्वत लेते गिरफ्तार किया गया है।
यह रहे टीम में
जियाउल हक निरीक्षक टेपकर्ता अधिकारी, उप पुलिस अधीक्षक प्रवीण सिंह परिहार उप निरीक्षक रितुका शुक्ला, उप निरीक्षक एवं 15 सदस्यीय टीम में शामिल रहे।