छतरपुर,भास्कर हिंदी न्यूज़/ जिले में कोरोना का कहर जारी है। अब तक सरकारी रिकार्ड में 78 मौतें कोरोना के कारण हो चुकी हैं। पुलिस और प्रशासन जिला अस्पताल के आसपास व चौराहा पर कोरोना कर्फ्यू का पालन सख्ती से करा रहा है। इस सख्ती का शिकार इलाज के लिए जाने वाले लोग व उनके परिजन भी हो रहे हैं। इधर व्यापारी अब कालाबाजारी पर उतर आए हैं। गांवों में विवाह खुलेआम हो रहे हैं। विवाह के लिए कपड़ा और जेवरात खरीदने के लिए ग्रामीण ग्राहक सुबह 4-5 बजे छतरपुर पहुंच रहे हैं। सुबह 5.00 चौक बाजार, बजरिया, पुरानी गल्ला मंडी, हटवारा में जबरदस्त भीड़ हो रही है।
दुकानदार ग्राहकों को अपने गोदाम में ले जाकर सामान दे रहे हैं। सब्जी और फल का बाजार सुबह 5 बजे से लग जाता है। यहां सुबह 8 बजे तक दुकानों पर जमकर भीड़ रहती है इस दौरान सब्जी और फल विक्रेता न तो मास्क लगाते हैं और न ही कोरोना गाइड लाइन और कोरोना कर्फ्यू का पालन कर रहे हैं। जिन किराना दुकानदारों को होम डिलेवरी के लिए शासन ने पास जारी किए हैं उसका भी दुकानदार जमकर दुरुपयोग कर रहे हैं और होम डिलेवरी के नाम खुलेआम महंगे दामों पर किराना सामग्री बेची जा रही है।
तार-तार हो रही गाइड लाइन
शहर में सुबह 5.00 बजे का नजारा ही कुछ और रहता है। चौक बाजार, बजरिया, हटवारा में ऐसा लगता है कि न तो शहर में कभी कोरोना था और न है। इस शहर में शायद कोरोना कर्फ्यू हटा दिया गया हो। सुबह बजे से यहां कपड़ा, बर्तन, ज्वेलरी से लेकर सब्जी और फल की एक-दो नहीं बल्कि सैकड़ों दुकानें खुली नजर आती हैं। कपड़ा और बर्तन व्यापारी अपने नौकरों को चौक बाजार के आसपास छोड़ देते हैं जो गांव से आने वाले ग्राहकों को गोवर्धन टाकीज के पास, तमरयाई मोहल्ला, परवारी मोहल्ला, कड़ा की बरिया, छोटी कुंजरेहटी संचालित गोदामों में ले जाते हैं। यहां एक गोदाम में 25-50 लोग एक साथ बगैर मास्क लगाए खरीददारी करते हैं। गुरुवार को जैसे ही परवारी मोहल्ला और गोवर्धन टाकीज के आसपास के गोदामों पर मीडियाकर्मी पहुंचे तो तुरंत भीतर से ही शटर बंद कर लिए गए। सुबह के 8.00 बजते-बजते बाजार बंद हो जाता है और गांवों से आने वाले ग्राहक खरीददारी करके लौट जाते हैं। इस दौरान न तो प्रशासन की टीम यहां पहुंचती है और न ही पुलिस यहां पहुंचती है।