Madhya pradesh rajgarh fir in rajgarh against digvijay singh for controversial remarks on golwalkar: digi desk/BHN/राजगढ़/ राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के द्वितीय सरसंघ चालक माधवराव सदाशिव राव गोलवलकर को लेकर इंटरनेट मीडिया पर आपत्तिजनक पोस्ट करने को लेकर पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह के खिलाफ उनके ही गढ़ राजगढ़ में कोतवाली पुलिस ने प्रकरण दर्ज किया है। कोतवाली में इंटरनेट मीडिया पर पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह द्वारा की गई पोस्ट को लेकर पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजयसिंह के खिलाफ उनके ही राजनैतिक गृह जिले में एफआइआर हो गई। उनके द्वारा इंटरनेट मीडिया पर की गई पोस्ट पर स्थानीय भाजपा नेताओं व हिंदू संगठनों से जुड़े कार्यकर्ताओं ने कड़ा एतराज जताया था।
उल्लेखनीय है कि दिग्विजयसिंह ने शनिवार को इंटरनेट मीडिया पर माधवराव सदाशिव राव गोलवलकर का एक फोटो सहित पोस्ट की थी। जिसमें बहुत कुछ लिखा गया था। ऐसे में दूसरे दिन रविवार को भाजपाइयों व हिंदू संगठनों से जुड़े लोगों ने इसपोस्ट को गोलवलकर की छवि को खराब करने वाली, भ्रामक व समाज में वेमनस्यता पैदा करने वाली करार दिया। इसी को लेकर वह राजगढ़ कोतवाली पहुंचे व पूर्व मुख्यमंत्री पर एफआइआर दर्ज कराने की मांग करने लगे। कुछ समय उन्होंने दिग्विजयसिंह के खिलाफ कोतवाली के गेटपर धरना देते हुए नारेबाजी की। कोतवाली में की गई शिकायत में कहा कि विश्व के सबसे बड़े निस्वार्थ समाजसेवी संगठन राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के विरूद्ध द्वेषपूर्ण तरीके से दलित, पिछड़ों, मुसलमानों, हिंदूओं में शत्रुता, घृणा, वेमनस्यता पैदा कर आपस में उकसाने व वर्ग संघर्ष के उददेश्य से जानबूझकर पोस्ट की गई है।
उक्त पोस्ट से आरएसएस के कार्यकर्ताओं एवं हिंदू समाज की आस्था आहत हुई है। ऐसे में युवा मोर्चा के पूर्व प्रदेश उपाध्यक्ष अंशुल तिवारी राजगढ़ की शिकायत पर पुलिस ने पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजयसिंह के खिलाफ धारा 153 ए, 469, 500, 505 भादवि के तहत एफआइआर दर्ज कर ली है। एफआरआर दर्ज कराने के लिए उनके साथ देवीसिंह सौंधिया, पूर्व नपाध्यक्ष प्रतिनिधि शैलेष गुप्ता व पूर्व मंडल अध्यक्ष साकेत शर्मा पहुंचे थे।
लंबे समय तक गेट पर किया प्रदर्शन, नारेबाजी की
एफआइआर दर्ज कराने के लिए पहुंचे कार्यकर्ताओं को जब लगा की एफआइआर इतनी आसानी से नहीं होगी तो वह कोतवाली के गेट पर धरने पर बैठ गए। धरने पर बैठकर दिग्विजयसिंह के खिलाफ लगातार नारेबाजी करते हुए एफआइआर दर्ज करने की मांग करते रहे। करीब एक घंटे तक गेट के बाहर बैठकर प्रदर्शन करते रहे। उधर संघ से भाजपा के नेताओं ने एफआइआर दर्ज करने के लिए पूरे रिकार्ड व तथ्य पुलिस को उपलब्ध करवाए। इसके बाद पुलिस ने प्रकरण दर्ज किया।
इनका कहना है
दिग्विजयसिंह जी को हिंदू संगठनों को बदनाम करने व हिंदुओं को भ्रमित करने की पुरानी बीमारी है। पहले वह भगवा आतंकवाद का सिगुफा लाए थे।। अब उन्होंने हिंदू समाज के सबसे बड़े संगठन के िद्वतीय सरसंघचालक को षड़यंत्र पूर्वक बदनाम करने की पोस्ट की है, हमने एफआइआर करा दी है।
देवीसिंह सौंधिया, पूर्व प्रांत संयोजक विहिप बजरंगदल
-वह एक जिम्मेदार व बड़े नेता है, उन्हें कोई भी पोस्ट करने के पहले पूरी गंभीरता बरतना चाहिए। उनकी पोस्ट को कई लोग देखते व फालो करते हैं, इसलिए भ्रामक पोस्टों से उन्हें बचना चाहिए। जो पोस्ट उनके टवीटर हैंडल से हुई है वह वैमनस्ता पैदा करने वाली है। इसलिए थाने में शिकायत की थी।
साकेत शर्मा, पूर्व मंडल अध्यक्ष राजगढ़