corona virus: नीदरलैंड/ कोरोना वायरस (कोविड-19) से गंभीर रूप से संक्रमित होने वाले पीड़ितों को लेकर एक नया अध्ययन किया गया है। इसमें पाया गया है कि गंभीर रूप से पीड़ित होने वाले अधिकतर मरीजों के फेफड़े तीन माह में पूरी तरह दुरुस्त हो जाते हैं। गंभीर संक्रमण के ज्यादातर मामलों में फेफड़ों के टिश्यू पूरी तरह उबरकर पहले वाली स्थिति में आ जाते हैं। क्लीनिकल इंफेक्शियस डिजीज पत्रिका में प्रकाशित अध्ययन में कोरोना संक्रमण से उबरने वाले 124 पीड़ितों को शामिल किया गया था।
इनके आधार पर यह निष्कर्ष निकाला गया है। नीदरलैंड की रेडबाउंड यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं के अनुसार, कोरोना से उबरने के तीन माह बाद सीटी स्कैन और फेफड़ों की जांच के जरिये मरीजों का परीक्षण किया गया। इसमें यह पाया गया कि फेफड़ों के टिश्यू अच्छी तरह उबर रहे हैं। ज्यादातर मरीजों के फेफड़ों में क्षति सीमित पाई गई। यह समस्या आमतौर पर उन रोगियों में देखने को मिली, जिनका इलाज आइसीयू में किया गया था। ऐसे रोगियों में तीन माह बाद थकावट, सांस की समस्या और सीने में दर्द जैसी शिकायतें आमतौर पर पाई गईं। शोधकर्ताओं ने बताया कि पीड़ितों को तीन समूहों में बांटकर अध्ययन किया गया था।
एक समूह में उन रोगियों को शामिल किया गया था, जिन्हें आइसीयू में भर्ती किया गया था। दूसरे समूह में अस्पताल के नर्सिंग वार्ड में भर्ती रहे मरीजों को रखा गया था। जबकि अंतिम समूह में उन कोरोना पीड़ितों को रखा गया, जिनका घर पर ही इलाज किया गया था। इस अध्ययन से जुड़े शोधकर्ता ब्राम वैन डेन बोरस्ट ने कहा, “इन नतीजों के आधार पर उपचार के दूसरे विकल्पों को तलाशने के लिए और अध्ययन किए जाने की जरूरत है।”