Wednesday , May 15 2024
Breaking News

Spiritual:वैशाख में शिवलिंग के ऊपर क्यों बांधते हैं मटकी? जानिए परंपरा और इसका महत्व

Vaisakha Month 2022: digi desk/BHN/नई दिल्ली/   धर्म ग्रंथों में हर महीने से जुड़ी कई परंपराएं बताई गई है। ऐसे ही परंपरा वैशाख मास से जुड़ी है। इस माह में शिवलिंग के ऊपर एक मटकी बांधी जाती है। जिसमें से बूंद-बूंद पानी टपकता रहता है। इस परंपरा के पीछे धार्मिक कारण है। कुछ स्थानों पर एक से अधिक गलंतिका बांधी जाती है। आइए जानते हैं इसके पीछे का धार्मिक कारण।

शिवलिंग के ऊपर क्यों बांधते हैं गलंतिका

हिंदू धर्म ग्रंथों के अनुसार वैशाख मास में भीषण गर्मी पड़ती है। जिससे शरीर का तापमान बढ़ जाता है। वह कई बीमारियों को सामना करना पड़ता है। ऐसी ही मान्यता भगवान शिवजी से जुड़ी है। जब समुद्र मंथन में सबसे पहले कालकूट नामक भयंकर विष निकला था। तब पूरी सृष्टि में कोहराम मच गया था। तब भगवान शंकर ने उस विष को पीकर सृष्टि को बचाया था। मान्यताओं के अनुसार वैशाख मास में महादेव पर विष का असर होने लगता है। उनके शरीर का तापमान भी बढ़ने लगता है। उस तापमान को नियंत्रित करने के लिए शिवलिंग पर मटकी बांधी जाती है। जिसमें से बूंद-बूंद टपकता जल शंकर को ठंडक देता है।

क्या है महत्व

वैशाख मास में सूरज पृथ्वी के सबसे निकट होता है। तब अधिक ताप से पृथ्वी में अत्यधिक गर्म हो जाती है। इसका असर प्राणी और पेड़-पौधों पर पड़ता है। वहीं कई तरह की मौसमजनिक बीमारी फैलने का डर रहता है। उससे बचने के लिए पानी पीना बेहद जरूरी है। शरीर में डिहाइड्रेशन की स्थिति रहने से बीमार होने का खतरा कम हो जाता है। वैशाख मास में शिवलिंग के ऊपर गलंतिका बांधना इस बात का संकेत देती है कि जब सूर्य का ताप अधिक हो। तब पानी पीकर खुदकर स्वस्थ रख सकते हैं।

 

About rishi pandit

Check Also

वृद्धि योग: वृषभ, सिंह, कन्या, मकर और मीन राशि के लिए शुभ समय

कल 14 मई दिन मंगलवार को चंद्रमा अपनी ही राशि कर्क में संचार कर रहे …

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *