Chhattisgarh Vidhan Sabha:digi desk/BHN/ विधानसभा में प्रश्नकाल के समय शराब के मुद्दे पर जमकर हंगामा हुआ। भाजपा विधायकों ने यस बैंक में जमा पांच करोड़ सरकार के खाते में नहीं आने का मुद्दा उठाया। हंगामे के बीच भाजपा विधायकों ने बहिर्गमन किया।
भाजपा विधायक नारायण चंदेल ने देशी और विदेशी मदिरा के विक्रय से प्राप्त राशि के संबंध में जानकारी मांगी। चंदेल ने पूछा कि एक जनवरी 2019 से 31 जनवरी 2021 तक प्रदेश में देशी और विदेशी मदिरा के विक्रय से कितनी राशि प्राप्त हुई है।
इस अवधि में दुकानों को कितनी धनराशि जमा करना शेष ह। राशि जमा नहीं होने का क्या कारण है। देसी और विदेशी मदिरा विक्रय से प्राप्त राशि विभाग के द्वारा कहां-कहां जमा कराई जाती है। इस पर आबकारी मंत्री कवासी लखमा ने जानकारी दी।
उन्होंने बताया कि प्रदेश में देशी-विदेशी मदिरा के विक्रय से अब तक छह हजार 279 करोड़ 60 लाख 55 हजार 590 रुपये और विदेशी मदिरा के विक्रय से पांच हजार 870 करोड 51 लाख 28 हजार 930 रूपए की राशि प्राप्त हुई है। इस अवधि में बिक्री राशि में महासमुंद जिले में पांच करोड़ 25 लाख 98 हजार 650 रुपए जमा होना शेष है।
इस पर कवासी लखमा ने कहा कि यह खाता हमारे सरकार के दौरान नहीं खोला गया है। पुरानी सरकार में ही खोला गया था। हमने तो ब्लैक लिस्टेड करने का काम किया है। धर्मजीत सिंह ने पूछा कि यस बैंक किसी भी दिन नो बैंक हो जाएगा। इसे क्या नेशनलाइज बैंक में डालेंगे क्या। शासन के राजस्व का सबसे बड़े स्त्रोत को खतरे में नहीं डाला जाना चाहिए।
मंत्री कवासी लखमा ने कहा कि हमने बैंक को ब्लैकलिस्ट किया है। वहीं, नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक ने प्लेसमेंट एजेंसी को संरक्षण देने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि यह पहली सरकार है, जो सरकारी खजाने को चूना लगाने का काम कर रही है। नेता प्रतिपक्ष के इस बयान पर सदन में जमकर हंगामा हुआ। सत्तापक्ष ने अनर्गल आरोप करार देते हुए जमकर हंगामा किया।