शहडोल, भास्कर हिंदी न्यूज़/ महिला क्रिकेट आइपीएल के फाइनल मैच आज है। इस मैच को लेकर क्रिकेट प्रेमियों में काफी उत्साह है लेकिन उससे ज्यादा उत्साह शहडोल में क्रिकेटर पूजा वस्त्रकार के घर के लोगों में देखा जा रहा है। इस मैच का फाइनल मुकाबला मुंबई इंडियंस तथा दिल्ली कैपिटल के बीच है। दोनों टीमें काफी धुआंधार खेल का प्रदर्शन कर रही हैं और जिसको लेकर अभी कुछ नहीं कहा जा सकता, लेकिन पूजा वस्त्रकार के घर के लोगों को यह पूरा भरोसा है कि यह मैच मुंबई इंडियंस जीतेगी और पूजा का खेल भी बेहतर होगा। पूजा के पिता बंधनराम, बहन उषा और निशा के अलावा उनके भाई और भाभी ने वीडियो बनाकर पूजा को शुभकामनाएं दी है बेस्ट ऑफ लक बोला है। शहडोल में भी पूजा के कोच आशुतोष श्रीवास्तव, शहडोल डिवीज़न क्रिकेट एसोसिएशन के अध्यक्ष सुनील खरे, सचिव अजय द्विवेदी में आज के मैच को लेकर काफी उत्साह है और सभी यही चाहते हैं कि पूजा जिस टीम में है वह टीम जीत हासिल करें।
ऐसे हुई क्रिकेटर बनने की शुरुआत
पूजा वस्त्रकार के क्रिकेट की शुरुआत शहडोल जिला मुख्यालय के घरौला मोहल्ला के एक पतली सी गली में खेलकर हुई। पूजा की उम्र 8 से 9 साल रही होगी तब पूजा टीवी पर क्रिकेट देखा करती थी और इसे देखकर वह भी अपने मकान के सामने पतली सी गली में लड़कों के साथ लकड़ी का पटिया उठाकर क्रिकेट खेलती थी। पुलिस लाइन स्थित ज्ञानोदय स्कूल में कक्षा पांचवी में पढ़ते हुए पूजा ने अपने क्रिकेट की जब शुरुआत की तब उसको यह पता नहीं था कि एक दिन भारतीय क्रिकेट टीम की वह चमकता हुआ सितारा बनेगी। स्कूल के प्रिंसिपल अजय सिंह ने जब पूजा को खेलते हुए देखा तो उससे कहा कि तुम स्टेडियम में जाकर अभ्यास करो तुम बहुत अच्छा खेलती हो।
करना पड़ा संघर्ष
पूजा वस्त्रकार का भारतीय महिला टीम में सिलेक्शन हुआ लेकिन उसके बाद पूजा को घुटने में चोट लगने के कारण तकरीबन 1 साल तक मैदान से बाहर रहकर बेंगलुरु में इलाज कराना पड़ा। ऐसे में लगता था कि पूजा का अब कैरियर खत्म हो जाएगा लेकिन पूजा ने हार नहीं मानी फिजियोथैरेपिस्ट और डॉक्टरों की सलाह पर जैसा जैसा कहा गया वैसा उसने किया। शहडोल में आने के बाद वह लगातार महात्मा गांधी स्टेडियम में अभ्यास करने जाती थी सुबह से उठना और अपना नित्य अभ्यास करना उसने अपने जीवन का हिस्सा बना लिया था और उसने ठान लिया था कि वह अपने आप को सिद्ध करके दिखाएगी।