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Great News: इन 9 लोगों ने 10 दिनों में पूरी एवरेस्ट के बेस कैंप की 5364 मीटर की चढ़ाई

Nine people of chhattisgarh climbed 5364 meters of the base camp of the entire everest in 10 days: digi desk/BHN/रायपुर/छत्तीसगढ़ के ब्लेड रनर “हाफ ह्यूमन रोबो” के नाम से पहचान रखने वाले चित्रसेन साहू ने अपने आठ साथियों के साथ एवरेस्ट फतह किया है। मिशन “अपने पैरों पर खड़े हैं” के तहत बैसाखी और कृत्रिम पैर के सहारे एवरेस्ट बेस कैंप 5364 मीटर तक की चढ़ाई चढ़ी। महज 10 दिन में चित्रसेन साहू और उनके आठ साथी चंचल सोनी, रजनी जोशी, अनवर अली, निक्की बजाज, गुंजन सिन्हा, पेमेंद्र चंद्राकर, रघुवेंद्र चंद्राकर और आशुतोष पांडे ने ये कारनामा किया है। एवरेस्ट के इस मिशन में अलग-अलग प्रकार के विकलांगता, जेंडर, उम्र और कम्युनिटी के लोगों ने ट्रैकिंग की है।

अपने पैरों पर खड़े हैं मिशन के तहत अभियान

एवरेस्ट बेस कैंप में पहुंचने के बाद सभी प्रतिभागियों में उत्साह की लहर नजर आई। “अपने पैरों पर खड़े हैं” मिशन के तहत यह प्रोग्राम आयोजित किया गया था। इस प्रोग्राम का मकसद लोगों में सशक्तिकरण और जागरूकता फैलाना है। जन्म से या किसी दुर्घटना के बाद अपने किसी शरीर के हिस्से को गंवा बैठते हैं, उन्हें सामाजिक स्वीकृति दिलाना, उन्हें समानता प्राप्त हो ना कि किसी असमानता के शिकार हो।

दया नहीं सबसे साथ की जरूरत

चित्रसेन साहू ने अपने प्रतिभागियों को मोटिवेट करते हुए कहा कि शरीर के किसी अंग का ना होना कोई शर्म की बात नहीं है, ना यह हमारी सफलता के आड़े आता है। जरूरत है तो अपने अंदर की झिझक को खत्म कर आगे बढ़ते रहने की। हम किसी से कम नहीं, ना ही हम अलग हैं तो बर्ताव में फर्क क्यों, हमें दया की नहीं सबके साथ की जरूरत है। एक समान जिंदगी जीने का हक सबको है।

टीम के प्रतिभागी

– टीम लीडर चित्रसेन साहू: उम्र 29 वर्ष, पर्वतारोही माउंट किलिमनजारो, एलब्रुस और कोस्सियस्को फतह, स्विमिंग, व्हीलचेयर बास्केटबाल पैरा खिलाड़ी। दोनों पैर कृत्रिम से पर्वतारोहण।

– चंचल सोनी: उम्र 14 वर्ष, राष्ट्रीय व्हीलचेयर बास्केटबाल खिलाड़ी, वन लेग डांसर (एक पैर जन्म से हीं है वैशाखी), पर्वतारोहण कर विश्व की सबसे कम उम्र की माउंटेनर।

– रजनी जोशी: उम्र 21 वर्ष, ब्लाइंड पैरा जूडो खिलाड़ी।

– अनवर अली: उम्र 36 वर्ष, ब्लेड रनर, ब्लड डोनर, 60 से अधिक बार ब्लड डोनेट किया है। एक पैर दुर्घटना के कारण खोया और अब कृत्रिम पैर से पर्वतारोहण। अनवर ने ईद के दिन यह मुकाम हासिल किया और एवरेस्ट बेस कैंप में नमाज अदा की।

– निक्की बजाज: उम्र 31 वर्ष, छत्तीसगढ़ की पहली ट्रांसजेंडर पर्वतारोही जिसने एवरेस्ट बेस कैंप फतह किया।

– गुंजन सिन्हा: उम्र 25 वर्ष, डिजिटल मार्केटर, फिल्म मेकर, इस पर्वतारोहण अभियान में सफलतापूर्वक चढ़ाई के साथ मिशन की डाक्यूमेंट्री शूट की, जो बहुत जल्द रिलीज होगी।

पेमेंन्द्र चंद्राकर: उम्र 38 वर्ष, ट्रेकर, माउंटेन फोटोग्राफर, एवरेस्ट बेस कैंप की सफलतापूर्वक चढ़ाई के साथ मिशन के लिए फोटोग्राफी।

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