Lynching in India: digi desk/BHN/नई दिल्ली/ कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने लिचिंग पर बयान दिया है। राहुल गांधी का कहना है कि 2014 से पहले देश में किसी ने लिंचिंग शब्द सुनने में नहीं आता था। भाजपा ने इसका तत्काल जवाब दिया। भाजपा आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय ने पूर्व प्रधानमंत्री राहुल गांधी का वीडियो जारी किया। अमित मालवीय ने राजीव गांधी को देश में लिंचिंग का जनक बताया। वीडियो में राजीव गांधी, इंदिरा गांधी की हत्या और उसके बाद भड़के सिख दंगों का जिक्र कर रहे हैं। राजीव गांधी कह रहे हैं कि जब भी कोई बड़ा पेड़ गिरता है तो धरती हिलती है।
भाजपा आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय ने वीडियो जारी करते हुए लिखा, ‘मिलिए राजीव गांधी से, मॉब लिंचिंग के जनक, सिखों के खून से लथपथ जनसंहार को सही ठहराते हुए। कांग्रेस ने सड़कों पर उतरे, खून का बदला खून से लेंगे जैसे नारे लगाए, महिलाओं के साथ बलात्कार किया, सिख पुरुषों के गले में जलते टायर लपेटे, नालों में फेंके गए जले हुए शवों पर कुत्तों को ले जाया गया।’
राहुल गांधी के लिंचिंग वाले बयान पर सोशल मीडिया में भी जबरदस्त प्रतिक्रियाएं आ रही हैं। यूजर्स याद दिला रहे हैं कि किस तरह महेश भट्ट ने 2009 में लिचिंग पर ट्वीट किया था। वहीं अधिकांश याद दिला रहे हैं कि 1984 में सिखों के साथ जो हुआ था वो भी लिंचिंग ही थी। एक अन्य यूजर ने ट्वीट किया, ‘लिंचिंग’ शब्द 2014 से पहले सुना जाना चाहिए था। 1966 में दिल्ली में साधुओं पर गोली, 1984 में हजारों सिखों का नरसंहार 1990 में कश्मीरी हिंदुओं का नरसंहार 2022 में गोधरा ट्रेन में रामभक्तों को जिंदा जलाना। इस समय लिंचिंग शब्द सुना जाना चाहिए था।
हाल के दिनों में पंजाब से लिंचिंग की खबरें आई हैं। पहले अमृतसर के स्वर्ण मंदिर और फिर पंजाब के ही कपूरथला में बेअदबी के आरोपियों को भीड़ ने पीट-पीटकर मार डाला। बेदअबी की घटनाओं की देशभर में कड़ी निंदा की गई, लेकिन इंटरनेट मीडिया पर #Lynching शब्द भी ट्रेंड में रहा। कुछ लोगों का मानना है कि कानून हाथ में नहीं लिया जाना चाहिए।