- उमा भारती ने किया ओबीसी महिला आरक्षण की मांग
- उमा भारती ने प्रधानमंत्री को लिखा पत्र
- ओबीसी महिलाओें के लिए महिला आरक्षण बिल का विरोध
Madhya pradesh bhopal uma bharti opposed women reservation bill uma said seats in parliament should be given on basis of mandal commission: digi desk/BHN/भोपाल/ संसद में महिला आरक्षण बिल पेश किए जाने के बाद अब मध्य प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती ने अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) महिलाओं के आरक्षण की मांग की है। उमा ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को पत्र लिखकर कहा है कि महिला आरक्षण बिल में ओबीसी महिलाओं को विशेष स्थान दिया जाए। इस बिल में ओबीसी महिलाओं को स्थान नहीं दिया गया है ऐसे में वह इस बिल का खुलकर विरोध करेंगी।
मंगलवार को उमा भारती ने पत्रकारवार्ता कर महिला आरक्षण बिल का विरोध करते हुए कहा कि ओबीसी वर्ग की महिलाओं के लिए 50 प्रतिशत आरक्षण दिए जाने का आंदोलन चलाएंगी। उन्होंने कहा कि देवेगौड़ा सरकार के समय महिला आरक्षण का बिल पेश किया गया था, उस समय मैंने कहा था कि एससी-एसटी की महिलाओं का भी प्रविधान किया जाए, जिसके बाद बिल रुक गया था, मैंने सुझाव दिया था कि मंडल कमीशन के आधार पर आरक्षण मिले। पार्टी के हर मंच पर ये मुद्दा उठाया, जिस पर अटल और आडवाणी जी का भी समर्थन मिला था।
सनातन को पुजारियों पर छोड़ दें
उमा भारती कहा कि महिलाओं को हजार दो हजार रुपये देने से क्या होगा, देना ही है तो महिलाओं को संसद में स्थान देना चाहिए। सनातन पर राजनीति को लेकर उमा ने कहा कि सनातन को पंडित और पुजारियों पर छोड़ दें, राजनीति न करें। राजनीतिक लोगों को तो विकास की बात करना चाहिए, सनातन शंकराचार्य और पंडित, पुजारी के लिए छोड़ देना चाहिए। उन्होंने कहा कि डीएमके का तो हमेशा से ही यही स्वभाव रहा है। डीएमके ने हमेशा सनातन का विरोध किया पर क्या उससे सनातन पर कोई प्रभाव पड़ा।