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Tips: नागपंचमी पर करें कालसर्प योग की शांति के लिए ये चमत्कारिक उपाय

Spiritual vrat tyohar do this miraculous remedy for peace of kalsarpa yoga on nag panchami: digi desk/BHN/ सीहोर/ श्रावण माह में शुक्ल पक्ष की पंचमी को नाग पंचमी का त्योहार मनाया जाता है। इस दिन नागों की पूजा की जाती है। नागों में खासकर वासुकि नाग की पूजा होती है। इस बार सावन माह में अधिकमास होने के कारण नागपंचमी का पर्व अगस्त में मनाया जा रहा है।

नागपंचमी पूजा के मुहूर्त

  • नाग पंचमी 2023:- नागपंचमी का पर्व 21 अगस्त सोमवार के दिन मनाया जाएगा।
  • पंचमी तिथि प्रारम्भ- 21 अगस्त 2023 को 12:21 एएम बजे।
  • पंचमी तिथि समाप्त- 22 अगस्त 2023 को 02:00 एएम बजे।

नागपंचमी पूजन विधि

बाला जी ज्योतिष अनुसंधान केन्द्र सीहोर के प्रेसिद्ध ज्योतिषाचार्य प सौरभ गणेश शर्मा ने बताया कि नागपंचमी पूजा हमारे सनातन धर्म में ईश्वर को समग्ररूपेण देखने की परम्परा है। इसी वजह से हमने समस्त जड़-चेतन में परमात्मा को प्रत्यक्ष मानकर उनकी आराधना की है। यही कारण है कि जब हम ईश्वर के चैतन्य स्वरूप की बात करते हैं तो उसमें केवल मनुष्य ही नहीं अपितु समस्त पशु-पक्षियों का भी समावेश हो जाता है।

हमारी धार्मिक परम्परा में विलग-विलग अवसर पर पशु-पक्षियों के दर्शन व पूजा का विधान है। इसी क्रम में ‘नागपंचमी’ का पर्व भी मनाया जाता है। नाग को शास्त्रों में काल (मृत्यु) का प्रत्यक्ष स्वरूप माना गया है। वहीं व्यावहारिक रूप में इसे वन्य जीव संरक्षण से जोड़कर देखा जा सकता है।

  • – नागपंचमी के दिन प्रात: काल स्नान करने के उपरांत शुद्ध होकर यथाशक्ति (स्वर्ण, रजत, ताम्र) दो नाग की प्रतिष्ठा कर उनका धूप, दीप, नैवेद्य आदि से पंचोपचार अथवा षोडषोपचार पूजन करना चाहिए। तत्पश्चात् ‘सर्पसूक्त’ से प्रतिष्ठित नागों का दुग्धाभिषेक करना चाहिए। अभिषेक के पश्चात् हाथ जोड़कर प्रार्थना करनी चाहिए।
  • -प्रार्थना करने के बाद पूर्ण श्रद्धाभाव से प्रणाम कर एक नाग को किसी भी शिव मंदिर में शिवलिंग पर चढ़ाना चाहिए तथा दूसरे नाग को दूध से भरे दोने (पात्र) में रखकर किसी पवित्र नदी या बहते जल में निम्न विसर्जन प्रार्थना से प्रवाहित करना चाहिए।
  • -जिन जातकों की जन्मपत्रिका में ‘कालसर्प’ दोष हो उन जातकों को ‘नागपंचमी’ वाले दिन उक्त पूजा अवश्य करनी चाहिए। नागपंचमी वाले दिन ‘कालसर्प’ दोष निवारण पूजा करने से विशेष लाभ होता है।

नागपंचमी पर भूलकर भी न करें ये काम
पंडित ने बताया कि श्रावण माह में कृष्ण पक्ष की पंचमी के दिन नाग मरुस्थले और शुक्ल पंचमी को नागपंचमी का पर्व नागदेवी को समर्पित है। 21 अगस्त 2023 को नागपंचमी का पर्व मनाया जायेगा। इस दिन कौनसे ऐसे 10 कार्य है जिन्हें भूलकर भी नहीं करना चाहिए।

1. किसी भी नाग को किसी भी तरह से ना सताएं।

2. इस दिन भूमि की खुदाई नहीं करते हैं।

3. इस दिन साग काटने की भी मनाई है।

4. इस दिन हल चलाना या जुताई कराना भी मना है।

5. इस दिन सुई धागे से किसी तरह की सिलाई भी नहीं की जाती है।

6. इस दिन तवा और लोहे की कड़ाही आदि पर भोजन नहीं पकाया जाता है।

7. किसान लोग अपनी नई फसल का तब तक उपयोग नहीं करते जब तक वह नए अनाज से नाग की बांबी को रोट न चढ़ाएं।

8. नाग पंचमी पर जीवित नाग की पूजा न करें बल्कि मूर्ति की पूजा करें। बांबी की पूजा करते हैं।

9. कहते हैं कि सांप या नाग के लिए दूध जहर समान होता है जिसके चलते बाद में उनकी मृत्यु हो जाती है। अत: नाग को दूध न पिलाएं।

10. बिना शिवजी की पूजा के नागों की पूजा नहीं की जाती है। नागों की स्वंतत्र पूजा नहीं होती। उनकी शिवजी के आभूषण के रूप में ही पूजा होती है।

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