Lunar Eclipse 2022: digi desk/BHN/ नई दिल्ली/ साल का दूसरा और आखिरी चंद्र ग्रहण 8 नवंबर को देव दिवाली के दिन लगेगा। हिंदू धर्म और ज्योतिष में ग्रहण को शुभ नहीं माना जाता है। इस साल यह संयोग है कि मजह 15 दिनों में 2 ग्रहण लगे हैं। दीपावली के एक दिन बाद 25 अक्टूबर को सूर्य ग्रहण और अब 8 नवंबर को चंद्र ग्रहण लगेगा।
कब लगता है चंद्र ग्रहण
चंद्र ग्रहण तब होता है जब पूर्णिमा की रात्रि को सूर्य, चांद और पृथ्वी एक ही रेखा में होते हैं। पृथ्वी के केंद्र में होने के कारण इसकी छाया चंद्रमा पर पड़ती है, जो इसे एक आकर्षक लाल रंग देती है। साथ ही कभी चंद्रमा को ढक लेता है। साल की शुरुआत में 15 मई को चंद्र ग्रहण लग चुका है। अब 8 नवंबर को लगने वाला चंद्र ग्रहण दूसरा और आखिरी होगा। संयोग से यह दिन देव दिवाली का भी है। इस दिन मंदिरों को सजाया जाता है।
क्या भारत में दिखेगा चंद्र ग्रहण
8 नवंबर को लगने वाला चंद्र ग्रहण भारत के अधिकांश हिस्सों में दिखाई नहीं देगा। ऐसे में ग्रहण का सूतक काल प्रभावी नहीं होगा। चंद्र ग्रहण 8 नवंबर को शाम 5.32 बजे से शाम 6.18 बजे तक रहेगा। यह ग्रहण भारत के पूर्वी हिस्से में ही दिखाई देगा। इनमें कोलकाता, सिलीगुड़ी, पटना, रांची और गुवाहाटी शामिल हैं। इसके अलावा काठमांडू, टोक्यो, बीजिंग, सिडनी, जकार्ता, मेलबर्न, सैन फ्रांसिस्को, वाशिंगटन डीसी, न्यूयॉर्क सिटी, शिकागो और मैक्सिको सिटी में चंद्र ग्रहण देखने को मिलेगा।
ज्योतिष शास्त्र में चंद्रमा को मन और माता का स्वामी माना गया है। चंद्र ग्रहण का सभी राशियों की मानसिक स्थिति और जीवन पर शुभ और अशुभ प्रभाव पड़ेगा। ग्रहण के दौरान कुछ लोगों को तनाव, अनिर्णय, मानसिक कष्ट का सामना करना पड़ सकता है। इसका असर देश और दुनिया पर देखा जा सकता है। इसमें मौसम के प्रभाव जैसी घटनाएं शामिल हैं। ग्रहण के बुरे प्रभाव से बचने के लिए ग्रहण के बाद स्नान करना चाहिए।