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MP Urban Body Elections: जनता चुनेगी महापौर,12 दिनों के असमंजस के बाद राज्यपाल से मिली अध्यादेश को मंजूरी

  • राजपत्र में अधिसूचित होने के बाद प्रभावी होगा मध्य प्रदेश नगर पालिका विधि संशोधन अध्यादेश-2022

 

MP urban body elections in madhya pradesh governor has approved the ordinance for civic elections now the mayor will be elected by the public: digi desk/BHN/भोपाल/नगरीय निकाय चुनाव में 12 दिनों के असमंजस के बाद अध्यादेश को गुरूवार को राज्यपाल की मंजूरी मिल गई है। अब नगर निगम के महापौर का चुनाव सीधे जनता से कराया जाएगा।

जबकि, नगर पालिका और नगर परिषद के अध्यक्ष का चुनाव पार्षदों के बीच से होगा। इसके लिए मध्य प्रदेश नगर पालिका विधि (संशोधन) अध्यादेश 2022 जारी करने की अनुमति राज्यपाल मंगुभाई पटेल ने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से मुलाकात के बाद दे दी। राजपत्र में अधिसूचना जारी होने के साथ ही यह प्रभावी हो जाएगा।

कमल नाथ सरकार ने निकाय चुनाव अप्रत्यक्ष प्रणाली से कराए जाने की नियम लागू किया था। शिवराज सरकार पहले इसे पलटकर प्रत्यक्ष चुनाव कराने के पक्ष में थी लेकिन बाद में आंश्ािक परिवर्तन करते हुए सिर्फ महापौर का निर्वाचन जनता द्वारा किए जाने का अध्यादेश लाया जा रहा है। नगरपालिका और नगर परिषद के अध्यक्ष का निर्वाचन पार्षद करेंगे। यह बदलाव कमल नाथ सरकार ने लागू किया था, जो लागू रहेगा।

प्रदेश में 16 नगर निगम हैं। इसके लिए काफी मंथन करने के बाद मध्य प्रदेश नगर पालिका विधि अधिनियम में संशोधन करने का निर्णय लिया गया। नगरीय विकास एवं आवास विभाग ने इसके लिए अध्यादेश का मसौदा तैयार करके मुख्यमंत्री की अनुमति से राजभवन भेजा था।

सूत्रों के मुताबिक राज्यपाल से मुलाकात में मुख्यमंत्री ने व्यवस्था में परिवर्तन को लेकर पक्ष रखा, जिससे सहमति जताते हुए उन्होंने अध्यादेश को अनुमति दे दी। इसे राजपत्र में अधिसूचित करने के लिए भेज दिया गया है। नगरीय विकास एवं आवास मंत्री भूपेन्द्र सिंह ने बताया कि अध्यादेश को राज्यपाल की अनुमति मिलने के बाद इसे अधिसूचित करके राज्य निर्वाचन आयोग को भेजा जाएगा। अब महापौर का चुनाव सीधे जनता करेगी। नगर पालिका और नगर परिषद के अध्यक्ष का निर्वाचन पार्षदों के माध्यम से होगा।

यह बनाया आधार

सूत्रों का कहना है कि महापौर का चुनाव प्रत्यक्ष प्रणाली से कराने के लिए शहरों में हो रहे तेजी से विकास को आधार बनाया गया है। कोरोनाकाल के बाद तेजी से पूंजीगत विकास के कार्य किए जा रहे हैं। केंद्र सरकार भी शहरी विकास पर विशेष ध्यान दे रही है। योजनाओं को क्रियान्वित करने और एक दिशा तय करने के लिए सशक्त नेतृत्व आवश्यक है। 413 नगरीय क्षेत्रों की जनसंख्या दो करोड़ बीस लाख से अधिक है। 16 नगर निगमों में आबादी 99 लाख और 99 नगर पालिकाओं में 56 लाख के आसपास है।

राज्य निर्वाचन आयुक्त करेंगे कलेक्टरों के साथ बैठक

उधर, चुनाव को लेकर तस्वीर साफ होने के बाद अब राज्य निर्वाचन आयोग ने चुनाव कार्यक्रम घोषित करने की तैयारियों को अंतिम रूप देना प्रारंभ कर दिया है। राज्य निर्वाचन आयुक्त बसंत प्रताप सिंह शुक्रवार को जिलों में नगरीय निकाय और पंचायत चुनाव की तैयारियों की समीक्षा करेंगे। इसके लिए वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से कलेक्टरों के साथ बैठक करेंगे।

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