Mann ki Baat 2022: digi desk/BHN/ नई दिल्ली/ रूस-यूक्रेन युद्ध और पांच राज्यों के विधानसभा चुनावों के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपने मासिक कार्यक्रम ‘मन की बात’ को संबोधित किया। हालांकि पीएम ने दोनों ही मुद्दों पर कुछ नहीं कहा। संबोधन की शुरुआत में पीएम ने कहा, इस महीने की शुरुआत में भारत, इटली से अपनी एक बहुमूल्य धरोहर को लाने में सफल हुआ है। ये धरोहर है अवलोकितेश्वर पद्मपाणि की हजार साल से भी ज्यादा पुरानी प्रतिमा। ये मूर्ति कुछ वर्ष पहले बिहार में गया जी के देवी स्थान कुंडलपुर मंदिर से चोरी हो गई थी। ऐसे ही कुछ वर्ष पहले तमिलनाडु के वेल्लूर से भगवान आंजनेय्यर, हनुमान जी की प्रतिमा चोरी हो गई थी। हनुमान जी की ये मूर्ति भी 600-700 साल पुरानी थी। इस महीने की शुरुआत में, ऑस्ट्रेलिया में हमें ये प्राप्त हुई, हमारे मिशन को मिल चुकी है। पीएम ने अपने संबोधन में तंजानिया के किली पॉल और बहन नीमा पॉल का जिक्र किया और कहा कि भारत में भी दूसरी भाषाओं और संस्कृति से जुड़े ऐसे वीडियो बनाए जा सकते हैं।
पीएम ने कहा, शिवरात्रि के साथ होली का त्योहार भी नजदीक है। मैं सभी से ‘वोकल फॉर लोकल’ का पालन करने और स्थानीय बाजारों से खरीदारी करके त्योहार मनाने का आग्रह करता हूं। इन त्योहारों को धूमधाम से मनाएं लेकिन सतर्क रहना भी न भूलें।
हमारे इतिहास में, देश के कोने-कोने में एक-से-बढ़कर एक मूर्तियां हमेशा बनती रहीं, इसमें श्रद्धा भी थी, सामर्थ्य भी था, कौशल्य भी था और विवधताओं से भरा हुआ था और हमारे हर मूर्तियों के इतिहास में तत्कालीन समय का प्रभाव भी नज़र आता है। अतीत में बहुत सारी मूर्तियां चोरी होकर भारत से बाहर जाती रहीं। कभी इस देश में, तो कभी उस देश में ये मूर्तियां बेचीं जाती रहीं। न उनको उसके इतिहास से लेना देना था, श्रद्धा से लेना देना था। इन मूर्तियों को वापस लाना, भारत मां के प्रति हमारा दायित्व है।
पीएम ने कहा, शिवरात्रि के साथ होली का त्योहार भी नजदीक है। मैं सभी से ‘वोकल फॉर लोकल’ का पालन करने और स्थानीय बाजारों से खरीदारी करके त्योहार मनाने का आग्रह करता हूं। इन त्योहारों को धूमधाम से मनाएं लेकिन सतर्क रहना भी न भूलें।
हमारे इतिहास में, देश के कोने-कोने में एक-से-बढ़कर एक मूर्तियां हमेशा बनती रहीं, इसमें श्रद्धा भी थी, सामर्थ्य भी था, कौशल्य भी था और विवधताओं से भरा हुआ था और हमारे हर मूर्तियों के इतिहास में तत्कालीन समय का प्रभाव भी नज़र आता है। अतीत में बहुत सारी मूर्तियां चोरी होकर भारत से बाहर जाती रहीं। कभी इस देश में, तो कभी उस देश में ये मूर्तियां बेचीं जाती रहीं। न उनको उसके इतिहास से लेना देना था, श्रद्धा से लेना देना था। इन मूर्तियों को वापस लाना, भारत मां के प्रति हमारा दायित्व है।
भारत में विश्व की सबसे पुरानी भाषा तमिल है। साल 2019 में, हिन्दी, दुनिया की सबसे ज्यादा बोली जाने वाली भाषाओं में तीसरे क्रमांक पर थी। आज के दिन, यानी, 27 फरवरी को मराठी भाषा गौरव दिवस भी है | ‘सर्व मराठी बंधु भगिनिना मराठी भाषा दिनाच्या हार्दिक शुभेच्छा।’