Mahakal temple ujjain: digi desk/BHN/ उज्जैन /भाजपा नेता कैलाश विजयवर्गीय, विधाायक पुत्र आकाश व रमेश मेंदोला के साथ शुक्रवार अलसुबह महाकाल मंदिर दर्शन के लिए पहुंचे। उनके साथ कुछ वीआइपी भी थे। इस दौरान प्रशासन ने सभी गेटों को बंद कर दिया था। भस्मारती के लिए जब मुख्य पुजारी व अन्य पुजारी गेट पर पहुंचे तो इन्हें जाने नहीं दिया गया। इस पर पुजारियों ने हंगामा कर दिया। आरोप है कि इस कारण से भस्मारती आधे घंटे विलंब से हुई। मामले में मंदिर प्रशासक व अधिकारी कुछ भी कहने से बचते रहे। इस मामले में फिलहाल विजयवर्गीय और अन्य नेताओं की प्रतिक्रिया नहीं मिल सकी है। वहीं, दूसरी ओर प्रशासक नरेंद्र सूर्यवंशी ने मोबाइल बंद कर रखा है। अब पुजारी भी इस मामले पर कुछ नहीं बोल रहे हैं।
विजयवर्गीय अपने पुत्र आकाश और रमेश मेंदोला के साथ नागपंचमी के दिन भगवान महाकाल के दर्शन करने पहुंचे थे। उनके मंदिर में प्रवेश के बाद प्रशासन ने सभी गेट बंद कर दिए। सुबह 4 बजे भस्म आरती करने पुजारी गेट नंबर चार पर पहुंचे तो उन्हें रोक दिया गया। पुजारियों का कहना है कि प्रशासन ने गर्भगृह में प्रवेश पर पाबंदी लगा रखी है। भस्मारती में भी अन्य सभी लोगों का प्रवेश वर्जित है। ऐसे में नेताओं को प्रवेश कैसे दिया गया।
नेताओं को देख भड़के पुजारी
पुजारियों को पहले 4 नंबर गेट फिर सूर्यमुखी द्वार पर रोक दिया गया। यहां पर पुजारियों ने सभा मंडप में कैलाश विजयवर्गीय के साथ आकाश और रमेश मेंदोला को देखा तो वे भड़क गए और हंगामा किया। उन्होंने कहा- इसकी मुख्यमंत्री से शिकायत करेंगे।
भस्म आरती में प्रवेश है प्रतिबंधित
कोविड गाइडलाइन के कारण महाकाल मंदिर में एक साल से भस्मारती में पंडे पुजारियों को छोड़ सभी का प्रवेश प्रतिबंधित है। शुक्रवार सुबह भी 3 बजे मंदिर के पट संजय पुजारी ने खोले और बाद में मंदिर के सभी द्वारों पर ताले लगा दिए गए थे।