भास्कर न्यूज हिन्दी/दिल्ली : केंद्र सरकार ने महिलाओं की सुरक्षा को लेकर सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को नया परामर्श जारी किया है. नये परामर्श में केंद्र ने राज्यों से कहा है कि महिलाओं के साथ अपराध मामले में पुलिस थाने की कार्रवाई अनिवार्य कर दी जाए. गृह मंत्रालय (Ministry of Home Affairs) की ओर से जारी एडवाइजरी में कहा गया है कि महिला के खिलाफ अपराध यदि थाने के अधिकार क्षेत्र के बाहर हुआ है तो उस स्थिति में ‘शून्य प्राथमिकी’ दर्ज की जाए.
गृह मंत्रालय ने महिला सुरक्षा पर राज्यों को नया परामर्श जारी करते हुए कहा कि नियमों का पालन नहीं करना न्याय दिलाने के लिहाज उचित नहीं होगा. परामर्श में कहा गया है कि अगर थाने के स्टॉफ या किसी अधिकारी के द्वारा महिला अपराध में एफआईआर दर्ज नहीं की जाने की सूचना मिले तो उनको कठोर दंड दिया जाना चाहिए. कानून में इसके लिए सजा का प्रावधान है.
गृह मंत्रालय की ओर से जारी एडवाइजरी में यह भी कहा गया है कि रेप के मामले में पूरी जांच दो महीने के अंदर पूरी हो जानी चाहिए और इसका रिपोर्ट सरकार की ओर से बनाये गये पोर्टल पर अपलोड कर दिया जाना चाहिए. इस ऑनलाइन पोर्टल का नाम Investigation Tracking System for Sexual Offences (ITSSO) है. यहां से मंत्रालय हर केस की निगरानी कर सकता है.