Madhya pradesh jabalpur pune porsche accident last rites of deceased it engineers family members raised questions arrangements: digi desk/BHN/पुणे/ महाराष्ट्र के पुणे में एक सड़क हादसे में मृतक आईटी इंजीनियरों का अंतिम संस्कार हो गया। ऐसे में मृतक के परिजनों ने व्यवस्थाओं पर सवाल उठाया है। पुणे के बहुचर्चित रन एंड हिट घटना में मध्यप्रदेश निवासी दो आईटी इंजीनियरों की मौत हो गई थी। दोनों का अंतिम संस्कार जबलपुर तथा बीरसिंहपुर पाली में किया गया। इस दौरान मृतकों के परिजनों ने व्यवस्थाओं पर सवालिया निशान उठाते हुए कहा, बच्चे अपने उज्जवल भविष्य का सपना देख रहे थे। उनके सपनों के साथ ही हमारे भी सपने टूट गए।
बता दें, शनिवार-रविवार की दरम्यानी रात लगभग 2.30 बजे पुणे जिले के यरवदा पुलिस स्टेशन अंतर्गत कल्याण नगर एयरपोर्ट रोड पर पॉर्श कार के चालक ने तेज रफ्तार व लापरवाही पूर्वक वाहन चलाते हुए मोटर साइकिल को टक्कर मार दी थी। इस घटना में मोटर साइकिल सवार अनीष अवधिया (24) मूलतः निवासी बीरसिंहपुर पाली तथा अश्वनी कोष्टा (24) निवासी साकार हिल्स जबलपुर की मौत हो गई थी। अनीष का अंतिम संस्कार बीरसिंहपुर पाली मुक्तिधाम तथा अश्वनी कोष्टा का अंतिम संस्कार ग्वारीघाट मुक्तिधाम में मंगलवार को किया गया।
घटना का शिकार हुई अश्वनी के पिता सुरेश कुमार कोष्टा ने बताया कि उनकी बेटी अपने उज्जवल भविष्य का सपना देख रही थी। उसके सपने के साथ मेरे सपने भी टूट गए। हर पिता की इच्छा होती है कि वह अपने बच्चों के नाम से पहचाना जाए। अब कौन कहेगा कि यह अश्वनी के पिता हैं। उन्होंने इस घटना के लिए सिस्टम पर परिवार की परवरिश को दोषी ठहराते हुए कहा कि नियम कानून का पालन किया जाता तो यह हादसा नहीं होता। इसके अलावा नाबालिग शराब के नशे में धुत होकर तेज रफ्तार में कार चला रहा था, परंतु उसे रोकने वाला कोई नहीं था। यातायात पुलिस अपने दायित्वों का पालन करती तो यह घटना नहीं होती।
उन्होंने कहा कि सरकार कानून बनाती है और उसका पालन की जिम्मेदारी प्रशासन की होती है। प्रशासन के अधिकारी तथा नाबालिग किशोर के माता-पिता अपने दायित्वों का सही ढंग से पालन करते तो यह हादसा नहीं होता। इस हादसे के लिए नाबालिग लड़के के माता-पिता व प्रशासन जिम्मेदार हैं। जिन्होंने अपने दायित्वों का सही तरीके से पालन नहीं किया।
उन्होंने कहा कि यातायात व्यवस्था के सुधार के लिए न्यायालय के दरवाजे खटखटाने पडते हैं। कानून में जो प्रावधान हैं, उसका सख्ती से पालन किया जाए, जो ऐसे हादसे घटित न हों। मेरे जैसे कई पिता हैं, जिन्हें इस तरह से अपने सड़क दुर्घटना का अपने नव युवक बच्चों को खोना पड़ा है और जीवन भर का उन्हें दर्द मिला है। मृतिका के भाई समनदीप कोष्टा का कहना है कि कार चलाने वाले किशोर ने अपने होश में कार चलाकर ले गया होगा। इसके अलावा होश में शराब का आर्डर दिया होगा। जो कार चला सकता है और शराब पीने के लिए पब जाता है, वह मानसिक रूप में व्यस्क है। इसलिए उसके खिलाफ व्यस्क के तहत कानूनी कार्रवाई करना चाहिए।