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उप्र: तीसरे चरण के तहत 10 लोकसभा क्षेत्रों में मतदान की तैयारी पूरी

उप्र: तीसरे चरण के तहत 10 लोकसभा क्षेत्रों में मतदान की तैयारी पूरी

तीसरे चरण की सभी पांच सीटों पर राजग का कब्जा, इंडिया गठबंधन को साख बनाने की चुनौती

बंगाल की चार लोकसभा सीटों पर आज मतदान

लखनऊ
 उत्तर प्रदेश में लोकसभा चुनाव के तीसरे चरण के तहत आज 10 सीट के लिए मतदान की तैयारी पूरी हो चुकी हैं। राज्य के मुख्य निर्वाचन अधिकारी कार्यालय ने यह जानकारी दी।

तीसरे चरण के तहत आज  उत्तर प्रदेश की संभल, हाथरस, आगरा, फतेहपुर सीकरी, फिरोजाबाद, मैनपुरी, एटा, बदायूं, आंवला और बरेली सीट पर मतदान होगा।

इस चरण में 100 उम्मीदवारों के भाग्य के फैसले का अधिकार 1.88 करोड़ मतदाताओं के पास होगा। इनमें एक करोड़ से अधिक पुरुष मतदाता और 87 लाख से अधिक महिला मतदाता शामिल हैं।

तीसरे चरण में केंद्रीय मंत्री एस. पी. सिंह बघेल (आगरा), उत्तर प्रदेश के पर्यटन मंत्री जयवीर सिंह (मैनपुरी) और राजस्व राज्य मंत्री अनूप प्रधान वाल्मीकि (हाथरस) की प्रतिष्ठा दांव पर लगी है।

लोकसभा चुनाव का यह दौर समाजवादी पार्टी (सपा) के लिए भी महत्वपूर्ण है जिसमें मैनपुरी सीट से डिंपल यादव फिर से जीत के लिए प्रयास कर रही हैं। इस सीट पर उन्होंने अपने ससुर और सपा नेता मुलायम सिंह यादव के निधन के बाद हुए उपचुनाव में जीत हासिल की थी।

सपा के प्रमुख राष्ट्रीय महासचिव राम गोपाल यादव के बेटे अक्षय यादव फिरोजाबाद सीट को फिर से हासिल करने की कोशिश करेंगे। इस सीट पर उन्होंने 2014 में जीत हासिल की थी। बदायूं लोकसभा सीट से चुनावी शुरुआत कर रहे आदित्य यादव सपा का गढ़ मानी जाने वाली इस सीट को जीतने के लिए प्रयासरत हैं।

वर्ष 2014 में बदायूं सीट पर आदित्य के चचेरे भाई धर्मेंद्र यादव ने जीत हासिल की थी।

तीसरे चरण के चुनाव में उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और भाजपा के दिग्गज नेता रहे कल्याण सिंह के बेटे राजवीर सिंह एटा संसदीय क्षेत्र से ‘हैट्रिक’ बनाने की उम्मीद कर रहे हैं।

बरेली में मुख्य मुकाबला भाजपा के छत्रपाल सिंह गंगवार और सपा के प्रवीण सिंह ऐरन के बीच है। इस सीट पर बसपा उम्मीदवार मास्टर छोटे लाल गंगवार का नामांकन पत्र खारिज हो गया है।

तीसरे चरण में जिन 10 लोकसभा सीटों पर मतदान हो रहा है, उनमें भाजपा ने इस बार पांच नए चेहरों को टिकट दिया है-बरेली से छत्रपाल सिंह गंगवार (संतोष गंगवार की जगह), बदायूं से दुर्विजय सिंह शाक्य (संघमित्रा मौर्य की जगह), हाथरस से अनूप प्रधान वाल्मीकि (राजवीर सिंह दिलेर की जगह), फिरोजाबाद से विश्वदीप सिंह (चंद्रसेन जादौन की जगह) और मैनपुरी लोकसभा सीट से जयवीर सिंह को पहली बार प्रत्याशी बनाया गया है।

भाजपा ने एटा, आगरा, आंवला और फतेहपुर सीकरी से विजयी उम्मीदवारों को बरकरार रखा है। पार्टी ने संभल लोकसभा सीट से परमेश्वर लाल सैनी को टिकट दिया है। तीसरे चरण में कांग्रेस ने फतेहपुर सीकरी से रामनाथ सिंह सिकरवार को मैदान में उतारा है, जबकि उसके सहयोगी दल समाजवादी पार्टी ने बाकी नौ संसदीय क्षेत्रों से अपने उम्मीदवार उतारे हैं।

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इन निर्वाचन क्षेत्रों में भाजपा उम्मीदवारों के लिए ताबड़तोड़ जनसभाएं कीं। उन्होंने 26 अप्रैल को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के साथ बरेली में रोड शो में भी भाग लिया।

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने पिछली दो मई को बरेली, बदायूं और सीतापुर में चुनावी रैलियों को संबोधित किया और कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी पर हमला करते हुए कहा कि कांग्रेस को चुनावों में इतनी बड़ी हार मिलेगी कि ‘भारत जोड़ो यात्रा’ का समापन चार जून के बाद ‘कांग्रेस ढूंढ़ो यात्रा’ के साथ होगा।

वरिष्ठ सपा नेता शिवपाल यादव ने भी अपने बेटे आदित्य यादव के लिए वोट मांगे।

बहुजन समाज पार्टी की प्रमुख मायावती ने अपनी पार्टी के उम्मीदवारों के पक्ष में प्रचार किया।

कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाद्रा ने तीन मई को पार्टी उम्मीदवार रामनाथ सिंह सिकरवार के पक्ष में समर्थन जुटाने के लिए फतेहपुर सीकरी में रोड शो किया।

तीसरे चरण की सभी पांच सीटों पर राजग का कब्जा, इंडिया गठबंधन को साख बनाने की चुनौती

पटना

बिहार लोकसभा चुनाव 2024 के तीसरे चरण में जहां सभी पांच सीट पर राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन का कब्जा है, वहीं इंडिया गठबंधन के बैनर तले पहली बार लोकसभा का चुनाव लड़ रहे प्रत्याशी को अपनी साख बनाने की चुनौती है।
बिहार लोकसभा चुनाव में तीसरे चरण का मतदान 07 मई को झंझारपुर, सुपौल, अररिया, मधेपुरा और खगड़िया में होने जा रहा है। सभी सीटों पर राजग का कब्जा है, वहीं इन सीटों पर इंडिया गठबंधन के सभी प्रत्याशी पहली बार लोकसभा के रण में उतरे हैं। वर्ष 2019 के चुनाव में राजग के घटक दल जनता दल यूनाईटेड (जदयू) ने झंझारपुर, सुपौल और मधेपुरा में जीत हासिल की थी, जबकि अररिया में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और खगड़िया में लोक जनशक्ति पार्टी (लोजपा) ने कब्जा जमाया था। इस बार के चुनाव में राजग ने झंझारपुर, सुपौल, मधेपुरा और अररिया में अपने वर्तमान सांसद पर ही दाव लगाया है, वहीं खगड़िया सीट पर राजग ने नये उम्मीदवार को चुनावी रण में उतारा है। इंडिया गठबंधन के सभी प्रत्याशी इन पांच सीट पर पहली बार लोकसभा का चुनाव लड़ रहे हैं।

बिहार में अबतक दो चरणों में हुये चुनाव में इंडिया गठबंधन की ओर से राष्ट्रीय जनता दल (राजद) और कांग्रेस के प्रत्याशी ही राजग के प्रत्याशी से लोहा ले रहे थे। वहीं, तीसरे चरण में राजद का साथ देने के लिये इंडिया गठबंधन के अन्य घटक विकासशील इंसान पार्टी (वीआईपी) और मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) के उम्मीदवार भी चुनावी रण में अपना जलवा बिखेरने के लिये बेताब हैं। तीसरे चरण में किसी सीट पर कांग्रेस के प्रत्याशी नहीं हैं। राजद के प्रत्याशी तीन सीट सुपौल, अररिया और मधेपुरा में चुनाव लड़ रहे हैं, वहीं झंझारपुर में वीआईपी और खगड़िया में माकपा के प्रत्याशी सियासी रणभूमि में उतरे हैं। अररिया और सुपौल सीट पर राजद ने अपने विधायकों को चुनावी रण में उतारा है।

अररिया सीट से पूर्व केंद्रीय गृह राज्य मंत्री तस्लीमुद्दीन के पुत्र और जोकीहाट के विधायक शाहनवाज आलम राजद के बैनर तले पहली बार लोकसभा के चुनावी मैदान में उतरे हैं। आलम का मुकाबला इस सीट पर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) सांसद प्रदीप कुमार सिंह से होगा। वर्ष 2014 के लोकसभा चुनाव में अररिया संसदीय सीट से प्रदीप कुमार सिंह ने भाजपा के टिकट पर चुनाव लड़ा था। इस सीट पर सिंह की टक्कर राजद प्रत्याशी पूर्व केन्द्रीय मंत्री तस्लीमुद्दीन से हुयी। तस्लीमुद्दीन ने सिंह को चुनावी मैदान में मात दी। तस्लीमुद्दीन के निधन के बाद अररिया लोकसभा सीट पर वर्ष 2018 में उप चुनाव हुआ। उपचुनाव में भाजपा के प्रत्याशी प्रदीप सिंह का मुकाबला तस्लीमुद्दीन के बड़े पुत्र राजद प्रत्याशी सरफराज आलम से हुआ। भाजपा के सिंह को इस चुनाव में हार का सामना करना पड़ा। वर्ष 2019 लोकसभा चुनाव में भाजपा उम्मीदवार प्रदीप सिंह ने राजद प्रत्याशी सरफराज आलम को पराजित कर बाजी अपने नाम कर ली। इस बार के चुनाव में भाजपा प्रत्याशी सिंह की चुनावी टक्कर स्वर्गीय तस्लीमुद्दीन के दूसरे पुत्र राजद प्रत्याशी शाहनवाज आलम से होने जा रही है। अररिया सीट से किशनगंज के पूर्व पुलिस उपाधीक्षक एवं पटना साइंस कॉलेज के सहायक प्राध्यापक डा. अखिलेश कुमार निर्दलीय चुनाव लड़ रहे हैं। अररिया संसदीय सीट से भाजपा,राजद,बहुजन समाज पार्टी समेत 09 प्रत्याशी चुनावी मैदान में है।

सुपौल संसदीय सीट पर राजद प्रत्याशी, सिंहेश्वर विधानसभा के विधायक चंद्रहास चौपाल पहली बार लोकसभा में अपनी किस्मत आजमाने के लिये तैयार है। चौपाल की चुनावी टक्कर इस सीट पर जदयू के वर्तमान सांसद दिलेश्वर कामत से है। सुपौल संसदीय सीट से जदयू,राजद,बहुजन समाज पार्टी, सात निर्दलीय समेत 15 प्रत्याशी चुनावी मैदान में है।
मधेपुरा संसदीय सीट से भूपेंद्र नारायण मंडल विश्वविद्यालय के संस्थापक कुलपति रहे पूर्व सांसद डॉ. रमेन्द्र कुमार यादव रवि के पुत्र और संविधान सभा के सदस्य कमलेश्वरी प्रसाद यादव के पौत्र कुमार चंद्रदीप पहली बार राजद के टिकट पर चुनावी रण में उतरे हैं। चंद्रदीप की टक्कर जदयू सांसद दिनेशचंद्र यादव से है। मधेपुरा संसदीय सीट से जदयू, राजद, बसपा समेत 08 प्रत्याशी चुनावी मैदान में है।
झंझारपुर संसदीय सीट पर (वीआईपी) के उम्मीदवार सुमन महासेठ पहली बार लोकसभा के रण में उतरे हैं। महासेठ इस सीट पर वर्तमान सांसद रामप्रीत मंडल से मुकाबला करने के लिये तैयार हैं।सुमन कुमार उर्फ सुमन कुमार महासेठ इससे पूर्व वर्ष 2020 के बिहार विधानसभा चुनाव के दौरान मधुबनी विधानसभा सीट से वीआईपी के प्रत्याशी रह चुके हैं, तब, उन्हें राजद उम्मीदवार समीर कुमार महासेठ ने हराया था। झंझारपुर सीट पर राजद के बागी

पूर्व विधायक गुलाब यादव ने बसपा के टिकट पर चुनाव लड़कर मुकाबले को त्रिकोणीय बना दिया है। झंझारपुर संसदीय सीट से जदयू, वीआईपी, बसपा और चार निर्दलीय समेत 10 प्रत्याशी चुनावी मैदान में है।

खगड़िया सीट पर राजग और इंडिया गठबंधन दोनो ने नये प्रत्याशी पर दाव लगाया है। वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव में खगड़िया संसदीय सीट से बिहार के पूर्व मंत्री चौधरी सलाउद्दीन के पुत्र और सांसद महबूब अली कैसर ने महागठबंधन में शामिल वीआईपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मुकेश सहनी को पराजित किया था। राजग के घटक दल लोजपा (रामविलास) के टिकट पर राजेश वर्मा पहली बार लोकसभा चुनाव लड़ रहे हैं। राजेश वर्मा वर्ष 2017 में भागलपुर के डिप्टी मेयर थे। इसके बाद उन्होंने वर्ष 2020 में लोजपा के टिकट पर भागलपुर से विधानसभा का चुनाव लड़ा। इस चुनाव में वह तीसरे नंबर पर रहे।

इंडिया गठबंधन में सीटों में तालमेल के तहत खगड़िया सीट माकपा को मिली है। माकपा के टिकट पर पूर्व विधायक योगेन्द्र सिंह के पुत्र और विभूतिपुर के विधायक अजय कुमार के भाई संजय कुमार चुनाव लड़ेंगे। संजय कुमार खगड़िया से माकपा के जिला सचिव हैं। महबूब अली कैसर इस बार लोकसभा चुनाव में बेटिकट हो गये हैं। कैसर हाल ही में राजद में शामिल हुये हैं। कैसर ने इस बार के चुनाव में माकपा के संजय कुमार को समर्थन देने की घोषणा की है। खगड़िया संसदीय सीट से लोजपा-रामविलास, माकपा, बसपा समेत 12 प्रत्याशी चुनावी मैदान में है।
तीसरे चरण में होने वाले चुनाव में राजग प्रत्याशी के पक्ष में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह, भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जे.पी.नड्डा, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार समेत कई दिग्गज नेताओं ने प्रचार किया। वहीं, इंडिया गठबंधन के उम्मीदवारों के पक्ष में पूर्व उप मुख्यमंत्री और नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने प्रचार किया है। तीसरे चरण में होने वाले चुनाव में सभी पांच सीट मिलाकर कुल 54 प्रत्याशी चुनावी मैदान में जीत के इरादे से अपनी-अपनी किस्मत आजमायेंगे। हालांकि बाजी किसके नाम होगी यह तो 04 जून को नतीजे आने के बाद ही स्पष्ट हो पायेगा।

 

बंगाल की चार लोकसभा सीटों पर आज मतदान

कोलकाता
 पश्चिम बंगाल में लोकसभा चुनाव में तीसरे चरण में चार सीटों मालदा उत्तर, मालदा दक्षिण, जंगीपुर और मुर्शिदाबाद में आज मंगलवार को मतदान के लिए तैयारियां पूरी कर ली गयी है।इन चार सीटों पर विभिन्न राजनीतिक दलों के 57 उम्मीदवार चुनाव मैदान में हैं। संबंधित निर्वाचन क्षेत्र के 57 26,12,395 महिलाओं और 154 ट्रांसजेंडरों सहित कुल 73,37,651 मतदाता इन उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला करेंगे।

चुनावों में मुख्य मुकाबला सत्तारुढ़ तृणमूल कांग्रेस, मुख्य विपक्षी भारतीय जनता पार्टी और वामपंथी कांग्रेस के बीच है। भीषण गर्मी के बावजूद मतदाताओं को लुभाने के लिए राजनीतिक दलों का हफ्तों से चल रहा गहन चुनाव प्रचार रविवार की शाम पांच बजे शांत हो गया।भाजपा के लिए प्रचार अभियान में उतरने वालों में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह भी शामिल हैं। वहीं तृणमूल कांग्रेस सुप्रीमो एवं मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और सांसद अभिषेक बनर्जी ने पार्टी उम्मीदवारों के लिए जोरदार प्रचार किया। कांग्रेस-वाम गठबंधन ने छोटी बैठकें करने के अलावा मुख्यत: घर-घर जाकर प्रचार करने पर ध्यान केंद्रित किया है।

मालदा उत्तर में मौजूदा भाजपा सांसद खगेन मुर्मू का मुकाबला पूर्व आईपीएस अधिकारी एवं तृणमूल कांग्रेस के उम्मीदवार प्रसून बनर्जी से है, जो पुलिस सेवा छोड़ने के तुरंत बाद पार्टी में शामिल हो गये थे। कांग्रेस ने यहां मुस्ताक आलम को उम्मीदवार बनाया है। निर्भया देवी के नाम से जानी जाने वाली श्रीरूपा मित्रा चौधरी मालदा दक्षिण में भाजपा की ओर से चुनाव लड़ रही है जहां उनके खिलाफ तृणमूल कांग्रेस उम्मीदवार शनावाज़ अली रेहान और कांग्रेस प्रत्याशी ईशा खान चौधरी से हैं।

जंगीपुर संसदीय सीट पर तृणमूल कांग्रेस के खलीलुर रहमान को त्रिकोणीय लड़ाई में भाजपा के धनंजय घोष और कांग्रेस के मुर्तजा हुसैन से सामना करना पड़ रहा है। मुर्शिदाबाद सीट पर भाकपा-माले के प्रदेश सचिव मोहम्मद सलीम, तृणमूल कांग्रेस के अबू ताहेर खान और भाजपा के गौरी शंकर घोष के बीच टक्कर की स्थिति है।
इस बीच चुनाव आयोग ने लू की स्थिति से निपटने के लिए इन चार लोकसभा सीटों पर मतदान से पहले मतदान अधिकारियों को मतदाताओं की सुविधा के मद्देनजर मतदान केंद्रों पर विशेष रूप से बुजुर्गों, महिलाओं और दिव्यांगों (दृष्टिबाधित, बोलने और सुनने की विकलांगता) के लिए विशेष व्यवस्था किये जाने के निर्देश दिये हैं।

 मतदान अधिकारियों को मतदान केंद्रों के सामने लंबे शेड बनाने, पीने के पानी की पर्याप्त आपूर्ति, ओआरएस के भंडारण और बुजुर्गों, महिलाओं तथा दिव्यांगों के लिए छाया के नीचे बैठने की व्यवस्था करने का निर्देश दिया गया है।

आयोग की ओर से जारी बयान में कहा गया कि आपातकालीन चिकित्सा किट कई बूथ परिसरों और एकल परिसरों के लिए क्लस्टर आधार पर रखी जाएंगी। आयोग ने मतदाताओं के साथ-साथ मतदान कर्मियों के लिए पंखे लगाने के लिए भी कहा है। सोमवार को मतदान कर्मी पूर्व-निर्धारित केंद्रों से अपने मतदान केंद्रों पर जाने के लिए आवश्यक गैजेट इकट्ठा करने की तैयारी कर रहे हैं। इन क्षेत्रों में शांतिपूर्ण मतदान सुनिश्चित करने के लिए केंद्रीय सशस्त्र बल पहले से ही तैनात हैं। इन क्षेत्रों में सीएपीएफ की लगभग 334 कंपनियां तैनात की जा रही हैं, जिनमें से एक तिहाई मुर्शिदाबाद लोकसभा क्षेत्र की अशांत सीमा पर तैनात हैं।

 

 

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