इंदौर
अयोध्या में नवनिर्मित राम मंदिर में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा 22 जनवरी 2024 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मौजूदगी में होगी। यह तारीख जैसे-जैसे नजदीक आ रही है, वैसे ही अयोध्या की ओर जाने वाले श्रद्धालुओं और भक्तों की संख्या भी बढ़ रही है। ऐसे में यदि आप भी अयोध्या की धार्मिक यात्रा करना चाहते हैं तो हम आपको यहां कुछ महत्वपूर्ण जानकारी दे रहे हैं।
अयोध्या स्टेशन से 5 किमी दूर है राम मंदिर
यदि आप ट्रेन से अयोध्या पहुंच रहे हैं तो अयोध्या जंक्शन से नवनिर्मित राम मंदिर की दूरी मात्र 5 किमी है। यहां पहुंचने के लिए यातायात के कई साधन उपलब्ध हैं। इसके अलावा लखनऊ, दिल्ली, गोरखपुर और इलाहाबाद जैसे प्रमुख शहरों से भी आप सीधी बस के जरिए अयोध्या पहुंच सकते हैं।
अयोध्या में इन जगहों की भी करें सैर
हनुमानगढ़ी मंदिर: अयोध्या में महाबली हनुमान का यह विख्यात मंदिर है। यह मंदिर 10वीं शताब्दी में बनाया गया था। धार्मिक मान्यता है कि यहां भगवान हनुमान का वास है और वह अयोध्या की रक्षा करते हैं।
रामकोट: यह अयोध्या का एक प्रमुख टूरिस्ट प्लेस है। जहां सुबह 6.30 से 10.30 और दोपहर 3.00 से शाम 6.00 बजे की सैर कर सकते हैं। इस स्थान पर चैत्र माह में रामनवमी का पर्व धूमधाम के साथ मनाया जाता है।
नागेश्वरनाथ मंदिर: अयोध्या में भगवान भोलेनाथ का यह मंदिर काफी प्राचीन है। पौराणिक मान्यता है कि इस मंदिर को भगवान राम के छोटे पुत्र कुश ने इसे बनवाया था। राम की पैड़ी पर स्थित नागेश्वरनाथ मंदिर को लेकर यह भी मान्यता है कि एक बार कुश सरयू नदी में स्नान कर रहे थे, तब उनका बाजूबंद नदी में गिर गया था, तो नाग कन्या ने कुश का बाजूबंद खोज कर दिया था। नाग कन्या शिवभक्त थी। इसलिए कुश ने नागकन्या के लिए नागेश्वरनाथ मंदिर का निर्माण कराया था।
राम की पैड़ी: अयोध्या में सरयू नदी पर यह सुंदर घाटों की लंबी श्रृंखला है, जो दर्शनीय है। धार्मिक मान्यता है कि सरयू नदी में स्नान करने से सभी पाप धुल जाते हैं। यहां स्थित गुप्तार घाट के दर्शन जरूर करना चाहिए। धार्मिक मान्यता है कि भगवान राम ने इसी घाट के पास जल समाधि ली थी। इसके अलावा यहां राम जानकी मंदिर, नरसिंह मंदिर, देव काली मंदिर सहित कई मंदिरों के दर्शन कर सकते हैं।