सतना, भास्कर हिंदी न्यूज़/ भारतीय सेना में युवाओं को प्रवेश का अवसर देने के लिए अग्निवीर योजना के तहत जबलपुर में एक से 25 सितम्बर तक भर्ती रैली आयोजित की जा रही है। इस रैली में भाग लेने के लिए पात्र पुरूष उम्मीदवारों द्वारा ऑनलाइन पंजीयन किया जा चुका है। जबलपुर के बाद ग्वालियर, भोपाल और सागर में भी अग्निवीर भर्ती रैलियाँ आयोजित की जाएंगी।
अग्निपथ भर्ती योजना 2022 के तहत सेना भर्ती कार्यालय जबलपुर द्वारा रीवा संभाग के सभी जिलों में एक से 25 सितम्बर तक अग्निवीर भर्ती रैली का आयोजन किया जा रहा है। इस भर्ती रैली में रीवा, सतना, सीधी, सिंगरौली के साथ-साथ अनूपपुर, उमरिया और शहडोल जिलों के भी युवा भाग ले रहे हैं। इस भर्ती रैली में केवल पुरूष उम्मीदवारों के लिए अग्निवीर सामान्य ड्यूटी, अग्निवीर तकनीकी, अग्निवीर क्लर्क तथा स्टोरकीपर, अग्निवीर ट्रेड्समैन दसवीं पास एवं अग्निवीर ट्रेड्समैन आठवीं पास के लिए भर्ती की जा रही है। भर्ती कार्यालय जबलपुर द्वारा इस संबंध में बताया गया कि उम्मीदवारों के ऑनलाइन पंजीयन की अंतिम तिथि 3 अगस्त तक थी। पंजीकृत उम्मीदवारों को 22 अगस्त से 27 अगस्त के बीच ई-मेल के माध्यम से प्रवेश पत्र भेजे जाएंगे। जिसमें रैली के स्थल, समय तथा अन्य विवरण दर्ज होंगे। जिसके अनुसार युवाओं को भर्ती रैली में शामिल होने का अवसर मिलेगा।
21 हज़ार मंदिर के पुजारियों को दिया जाएगा प्रशिक्षण : मंत्री सुश्री ठाकुर
मुख्यमंत्री तीर्थ-दर्शन यात्रा निरंतर जारी रहेगी
संस्कृति, पर्यटन और धार्मिक न्यास एवं धर्मस्व मंत्री सुश्री उषा ठाकुर ने कहा है कि प्रदेश में शासन संधारित लगभग 21 हज़ार मंदिर के पुजारियों को प्रशिक्षण दिया जाएगा। मंदिर समाज के संस्कार केंद्र हैं। यही भावी पीढ़ी को समाज के मूल्य और आदर्श संचारित करते हैं। मंदिर के प्रति समाज की भूमिका और समाज में मंदिर के महत्व को पाठ्यक्रम में शामिल किया जाएगा। प्रशिक्षण का पाठ्यक्रम और दिनचर्या का निर्धारण किया जा रहा है।
मंत्री सुश्री ठाकुर ने बताया कि मुख्यमंत्री तीर्थ-दर्शन योजना की ट्रेन अब निरंतर चलाई जाएगी। वर्तमान में लगभग 150 ट्रेन चलाने की योजना बनाई गई है। आदिगुरू शंकराचार्य ने चार धाम स्थापित किए थे, जिससे सनातन हिंदू धर्म के साधक चार धाम की यात्रा कर पुण्य प्राप्त कर सकें। मुख्यमंत्री और प्रदेश के श्रवण कुमार शिवराज सिंह चौहान ने आदि गुरू शंकराचार्य द्वारा शुरू की गई तीर्थाटन संस्कृति को आगे बढ़ाने का संकल्प लिया है। इसी संकल्प को साकार करने के लिए विभाग प्रयासरत है।