नई दिल्ली
दिल्ली-एनसीआर में हवा की गुणवत्ता सुधारने के लिए बनी केंद्र की समिति ने रविवार को 56 निर्माण स्थलों को बंद करने का आदेश दिया और नियमों का उल्लंघन करने वाले 597 स्थलों पर जुर्माना लगाया. वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (CAQM) ने कहा कि 15 अक्टूबर से 31 अक्टूबर के बीच 54,000 से अधिक वाहनों पर वैध प्रदूषण-नियंत्रण प्रमाण पत्र के अभाव में जुर्माना लगाया गया और 3,900 पुराने वाहनों को जब्त किया गया.
अवैध कचरा फेंकने वालों पर भी एक्शन
CAQM ने बताया कि अवैध कचरा फेंकने के स्थलों पर 5,300 से अधिक निरीक्षण किए गए और नगरपालिका ठोस कचरा जलाने के लिए उल्लंघनों के खिलाफ कार्रवाई की गई. सड़क पर धूल को नियंत्रित करने के लिए क्षेत्र में सफाई मशीनें, पानी के छिड़काव करने वाली मशीनें, और एंटी-स्मॉग गन तैनात की गई हैं. एनसीआर में औसतन हर दिन लगभग 600 पानी के छिड़काव करने वाले और एंटी-स्मॉग गन का उपयोग किया गया.
बता दें कि दिल्ली-एनसीआर में ग्रेडेड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान (GRAP) का चरण-I 15 अक्टूबर से लागू है, जबकि चरण II 22 अक्टूबर से लागू किया गया है. CAQM ने कहा कि एक GRAP मॉनिटरिंग कंट्रोल रूम 15 अक्टूबर से सक्रिय है ताकि एनसीआर राज्यों द्वारा लक्षित कार्रवाई की निगरानी की जा सके.
लगातार जहरीली हो रही है हवा
आपको बता दें कि दिल्ली में दशहरे के बाद से हवा जहरीली बनी हुई है. AQI लगातार खराब श्रेणी में बना हुआ है. हालांकि पिछले दो दिन से हालात में हल्के सुधार हुए थे. लेकिन, दिवाली पर एक्यूआई में जैसी बढ़ोत्तरी की आशंका जताई जा रही थी वो सच हुई. पटाखों ने दिल्ली में हवा का हाल फिर से बेहद ही खराब कर दिया है.
केन्द्रीय वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग के मुताबिक 15 अक्तूबर से लेकर 31 अक्तूबर के बीच ग्रैप प्रतिबंधों का उल्लंघन करने वाले 500 से ज्यादा निर्माण स्थलों पर जुर्माना लगाया गया है। साथ ही 54 हजार वाहनों का चालान किया गया है। ग्रैप प्रतिबंधों को लागू करने के साथ ही आयोग ने सभी संबंधित संस्थाओं से इनका उल्लंघन करने वालों के खिलाफ तेज अभियान चलाने के निर्देश दिए थे। इन पर हो रही कार्रवाई की निगरानी के लिए आयोग द्वारा एक नियंत्रण कक्ष भी स्थापित किया गया है। साथ ही संबंधित अधिकारियों का व्हाट्सऐप ग्रुप भी बनाया गया है।
सात हजार स्थलों का निरीक्षण किया
आयोग के मुताबिक 15 अक्तूबर से 31 अक्तूबर के बीच चलाए गए अभियान में दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र में अलग-अलग टीमों ने लगभग सात हजार निर्माण स्थलों का निरीक्षण किया। इस दौरान खामियां मिलने पर 597 निर्माण स्थलों पर जुर्माना लगाया गया है। नियमों का ज्यादा उल्लंघन कर रहे 56 निर्माण स्थलों पर काम को बंद करा दिया गया है। आयोग के मुताबिक वाहनों से होने वाले प्रदूषण की रोकथाम के लिए भी सख्त कार्रवाई की गई। दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र में लगभग 54 हजार वाहनों का चालान समुचित पीयूसी सर्टिफिकेट नहीं होने पर किया गया है। अपनी समयावधि पूरी कर चुके 3900 वाहनों पर भी कार्रवाई की गई।
आयोग ने रविवार को बताया कि दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र में प्रदूषण की रोकथाम के लिए व्यापक कदम उठाए गए हैं। केवल दिल्ली में ही 81 मैकेनिकल स्वीपिंग मशीनें तैनात की गई हैं। हरियाणा और उत्तर प्रदेश के एनसीआर जिलों में 36 ऐसे वाहनों की तैनाती की गई है। वहीं, पूरे दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र में 600 वाटर स्प्रिंकलर और एंटी स्मॉग गन की तैनाती की गई है।