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MP: संपदा-2.0 पोर्टल और एप का शुभारंभ, हांगकांग से रतलाम में पॉवर ऑफ अटार्नी का पंजीयन हुआ

भोपाल/ मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने गुरुवार को ई-रजिस्ट्री और ई-पंजीयन की नवीन प्रणाली पर विकसित “संपदा-2.0” पोर्टल और मोबाइल एप का शुभारंभ किया। सीएम बोले संपदा-2.0, ऑनलाइन दस्तावेज पंजीयन में डिजिटल क्रांति का मील का पत्थर है। केंद्र सरकार ने मध्य प्रदेश को 120 शहरों के जीआईएस मैपिंग का काम दिया है। प्रदेश के हर जिले में जीआईएस लैब स्थापित होगी। संपत्तियों की पंजीयन की यह सुविधा प्रदेश में शुरू होते ही पहले दिन हांगकांग से रतलाम में पॉवर ऑफ अटार्नी का रजिस्ट्रेशन कराया गया।

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव गुरुवार को कुशाभाऊ ठाकरे इंटरनेशनल कंवेंशन सेंटर में ई-रजिस्ट्री और ई-पंजीयन की नवीन प्रणाली पर विकसित “संपदा-2.0” पोर्टल और मोबाइल एप का शुभारंभ किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा शुरू किया गया डिजिटल इंडिया मिशन अब कल्पवृक्ष की तरह आमजन की हर जरूरत पूरी कर रहा है। जीरो बैलेंस खाता, ऑनलाइन ट्रांजेक्शन और ई-रजिस्ट्री जैसे नवाचार ने सभी का जीवन सरल और सुगम बनाया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि इसी कड़ी में मध्यप्रदेश में नवीन तकनीक पर आधारित “संपदा-2.0” का नवाचार ऑनलाइन दस्तावेज पंजीयन में डिजिटल क्रांति का माइलस्टोन बनेगा। इस नवाचार को पूरा देश फॉलो करेगा। पहले प्रदेश में दस्तावेज पंजीयन और अन्य कार्यों के लिए कार्यालय आना पड़ता था लेकिन पोर्टल और ऐप के माध्यम से सभी लोग घर से ही इस सुविधा का लाभ उठा सकेंगे।

केंद्र ने मप्र को सौंपे अहम काम
मुख्यमंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार ने मध्य प्रदेश को दो नए महत्वपूर्ण कार्य सौंपे हैं। इसमें 120 शहरों के जीआईएस कार्य को विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग के माध्यम से आईटी विभाग द्वारा पूरा किया जाएगा। साथ ही प्रदेश के सभी जिलों में जीआईएस लैब स्थापित करने जा रहे हैं। इसका लाभ प्रदेश को मिलेगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि आईटी के क्षेत्र में मध्य प्रदेश बहुत उन्नति कर रहा है। आईटी में नवाचार के साथ मध्य प्रदेश सरकार पेपरलेस सिस्टम की दिशा में कदम बढ़ाएगी। 

यह होगी सॉफ्टवेयर से सुविधा 
मुख्यमंत्री ने “संपदा-2.0” के बारे में बताते हुए कहा कि यह उन्नत तकनीक पर आधारित सॉफ्टवेयर है। इसमें राजस्व वित्त विभाग और नगरीय प्रशासन के साथ जीएसटी और यूनिक आईडी आधार से भी जोड़ा गया है। जमीन की रजिस्ट्री के लिए कलेक्टर की गाइडलाइन दर एप में लोकेशन के माध्यम से मालूम हो सकेगी। सॉफ्टवेयर से संपत्ति की जीआईसी मैपिंग होगी, बायोमैट्रिक पहचान और दस्तावेजों की फॉर्मेटिंग भी होगी। दस्तावेजों के पंजीयन के लिए व्यक्तिगत मौजूदगी की जरूरत नहीं होगी। घर बैठे ही दस्तावेज सत्यापन और पंजीकरण हो सकेगा। दस्तावेज की सॉफ्ट कॉपी व्हाट्सएप और ईमेल से आवेदक को प्राप्त होगी।

घर बैठे ही करा सकेंगे रजिस्ट्री
प्रधानमंत्री के मार्गदर्शन में प्रदेश लगातार नवाचार कर रहा है। इस दिशा में प्रदेश में संपदा-2.0 की नई व्यवस्था प्रधानमंत्री की मंशानुरूप ईज ऑफ लिविंग को दृष्टिगत रखते हुए लागू की जा रही है। इससे पंजीयन की व्यवस्था सुगम, सरल ओर करप्शन-फ्री बनेगी। नागरिकों को ई-पंजीयन और ई-स्टाम्पिंग की नवीन प्रणाली का लाभ मिलेगा। लोग घर बैठे अपनी प्रॉपर्टी को बेच भी सकेंगे और रजिस्ट्री करा सकेंगे। इस प्रणाली से प्रदेश ही नहीं, बल्कि प्रदेश और देश के बाहर से भी ऑनलाइन रजिस्ट्रियां करवाई जा सकेंगी। इससे आम व्यक्ति का समय भी बचेगा और अनावश्यक रूप से लगने वाले आरोपों से मुक्ति भी मिलेगी।

हांगकांग से सुरेंद्र सिंह चक्रावत ने की सीएम से बात
मुख्यमंत्री ने ई-पंजीयन एवं ई-स्टांपिंग के नवीन साफ्टवेयर “संपदा-2.0” का शुभारंभ कर इसका लाभ लेने वाले नागरिकों से वर्चुअल संवाद भी किया। हांगकांग से सुरेंद्र सिंह चक्रावत ने मुख्यमंत्री को बताया कि “संपदा-2.0” के माध्यम से उन्होंने हांगकांग से ही रतलाम में “पावर ऑफ अटार्नी” दस्तावेज का पंजीयन करवाया। 

दिल्ली से डॉ. शक्ति मलिक ने कराया पावर
इसी प्रकार जबलपुर में जन्मी 78 वर्षीय बुजुर्ग डॉ. शक्ति मलिक जो वर्तमान में दिल्ली में निवासरत है, उन्होंने भी “संपदा-2.0” के माध्यम “पावर ऑफ अटार्नी” दस्तावेज का पंजीयन ऑनलाइन करवाया। मुख्यमंत्री डॉ. यादव से संवाद में डॉ. मलिक ने बताया कि म.प्र. में की गई इस नई व्यवस्था से वे बेहद प्रसन्न हैं। उन्होंने कहा कि जो काम मुझे रतलाम जाकर करना पड़ता, वह दिल्ली में बैठे-बैठे हो गया।

जो स्पेन में नहीं हुआ, वह हुआ प्रदेश में: मरियानो मटियास
मुख्यमंत्री से वर्चुअल संवाद में स्पेन के मरियानों मटियास ने बताया कि आज तक स्पेन में भी ई-रजिस्ट्री का कार्य शुरू नहीं हो पाया है। उन्होंने मुख्यमंत्री को धन्यवाद के साथ कहा कि जो काम स्पेन में नहीं हुआ, वह मध्य प्रदेश ने उनके नेतृत्व में टीम ने करके दिखा दिया है। बता दें कि मध्यप्रदेश मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन के वर्क कॉट्रेक्ट का ऑनलाईन पंजीयन “संपदा-2.0” से कॉर्पोरेशन के पदाधिकारियों और दिल्ली में मौजूद स्पेन से आए मरियोनो मटियास अलवरेज अर्स की कंपनी आयेसा इंजीनियरा एवं पुष्पेन्द्र गुप्ता (आयेसा इंडिया प्राइवेट लि) द्वारा किया गया।

मोबाइल एप से पता चल जाएगी गाइडलाइन दर 
उप मुख्यमंत्री जगदीश देवड़ा ने कहा कि देश में रजिस्ट्री पंजीयन की डिजिटल प्रक्रिया में मध्य प्रदेश अग्रणी राज्य है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव के निर्देशन में “संपदा-2.0” का सरलीकरण एवं सुधार द्रुत गति से हुआ है। प्रदेश की जनता के लिए दस्तावेजों के ऑनलाइन पंजीयन के पारदर्शी प्रणाली लागू करने वाला मध्य प्रदेश देश में पहला राज्य है। पायलेट प्रोजेक्ट के रूप में चार जिलों में सफलतापूर्वक संचालन के बाद इसे पूरे प्रदेश में लागू किया जा रहा है। इसकी प्रक्रिया पूर्णत: पेपरलेस होने से गलतियों की गुंजाइश नहीं रहेगी। मोबाइल एप से किसी भी लोकेशन की गाईड लाइन दर तत्काल प्राप्त होगी।  

उत्कृष्ट कार्य करने वाले सम्मानित
मुख्यमंत्री ने पंजीयन विभाग में उत्कृष्ट कार्य करने वाले अधिकारियों और कर्मचारियों को प्रशस्ति-पत्र प्रदान कर सम्मानित किया। कार्यक्रम में “संपदा-2.0” पोर्टल और एप पर आधारित फिल्म का प्रदर्शन किया गया। मुख्यमंत्री को वाणिज्यिक कर विभाग की ओर से स्मृति चिन्ह के रूप में भगवान श्रीकृष्ण का चित्र भेंट किया।

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