National hathras people searching for their loved ones even 24 hours after hathras accident: digi desk/BHN/हाथरस/ हादसे के 24 घंटे बाद भी सत्संग में गए लोग लापता हैं। लापता लोगों की तलाश में परिजन इधर से उधर भटक रहे हैं। लापता लोगों के मोबाइल फोन बंद जा रहे हैं। जिससे परिजनों से उनका कोई संपर्क नहीं हो पा रहा है। तीन जुलाई को भी कई ऐसे परिजन शहर के बागला जिला अस्पताल परिसर में स्थित पोस्टमार्टम हाउस पर पहुंचे और अपनों की तलाश करते रहे।
हाथरस में कोतवाली सिकंदराराऊ अंतर्गत फुलरई मुगलगढ़ी गांव में 2 जुलाई को आयोजित सत्संग में भगदड़ से 121 लोग मारे गए और दर्जनों घायल हो गए। घटना के 24 घंटे बाद भी सत्संग में गए काफी लोग लापता हैं। जिनका अभी तक अपने परिजनों से कोई संपर्क नहीं हो पा रहा है। 3 जुलाई को अपनों की तलाश में काफी लोग बागला जिला अस्पताल के पोस्टमार्टम हाउस पर पहुंचे और अपनों की तलाश करते रहे। यहां पहुंचे लोग पुलिस व प्रशासनिक अधिकारियों से अपनों के बारे में जानकारी करते रहे।
हादसे के 24 घंटे बाद भी सत्संग में गए लोग लापता हैं। लापता लोगों की तलाश में परिजन इधर से उधर-भटक रहे हैं। लापता लोगों के मोबाइल फोन बंद जा रहे हैं। जिससे परिजनों से उनका कोई संपर्क नहीं हो पा रहा है। 3 जुलाई को भी कई ऐसे परिजन शहर के बागला जिला अस्पताल परिसर में स्थित पोस्टमार्टम हाउस पर पहुंचे और अपनों की तलाश करते रहे। यहां पहुंचे लोग पुलिस और प्रशासन के अधिकारी-कर्मचारियों से अपनों के बारे में जानकारी करते रहे, लेकिन उन्हें कोई जानकारी नहीं मिलती तो यह लोग मायूस होकर वापस यहां लौट गए।
मेरे देवर सत्संग सुनने के लिए घर से गए थे, लेकिन सत्संग में हुई भगदड़ की घटना के बाद से वह लापता हैं। उनका फोन नंबर भी बंद जा रहा है। उनकी तलाश में यहां पोस्टमार्टम हाउस पर आए हैं।-गायत्री, निवासी, लोहिया नगर, मथुरा रोड।
पड़ोसी में रिश्तेदारी में आई एक महिला भी सत्संग में गई थी, लेकिन उनका भगदड़ की घटना के बाद से कोई पता नहीं चल रहा है। गांव के लोगों के साथ ही महिला की तलाश में पोस्टमार्टम हाउस पर आए हैं, लेकिन कुछ पता नहीं चला।-ललित, निवासी, गांव सोखना।