नईदिल्ली
भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) की ओर से पेटीएम पर लगाए प्रतिबंधों को लेकर अखिल भारतीय व्यापारी परिसंघ (कैट) ने देशभर के व्यापारियों के लिए चेतावनी जारी की है। इसमें कहा गया कि पेटीएम उपयोगकर्ता अपने धन की सुरक्षा के लिए तुरंत उपाय करते हुए दूसरे पेमेंट ऐप पर शिफ्ट हो जाएं। कैट के राष्ट्रीय अध्यक्ष बी.सी भरतिया और राष्ट्रीय महामंत्री प्रवीण खंडेलवाल ने कहा कि बड़ी संख्या में छोटे व्यापारी, विक्रेता, हॉकर्स पेटीएम के जरिए लेन-देन कर रहे हैं। आरबीआइ के प्रतिबंध से इन लोगों को परेशानी हो सकती है।
मनी लॉन्ड्रिंग की आशंका पैदा हुई
पेटीएम पेमेंट बैंक पर प्रतिबंध का प्रमुख कारण सही पहचान के बिना बनाए गए करोड़ों अकाउंट हैं। इन अकाउंट की केवाईसी (ग्राहक की पहचान) प्रक्रिया पूरी नहीं की गई थी। बिना पहचान करोड़ों रुपए का लेन-देन किया गया। इससे मनी लॉन्ड्रिंग की आशंका पैदा हुई। खबरों के मुताबिक पेटीएम पेमेंट बैंक के तहत एक पैन पर एक हजार से ज्यादा यूजर्स के अकाउंट जुड़े हुए थे।
कैट ने व्यापारियों को धन जोखिम कम करने के प्रति चेताते हुए कहा कि वे पेटीएम से अपना पैसा तुरंत निकालें। पेटीएम यूजर्स को सीधे यूपीआइ के जरिए लेन-देन की सलाह दी गई है। कैट ने कहा कि वह ऐसी सभी कंपनियों का विरोध करेगा, जो देश के कानूनों का लगातार उल्लंघन करती हैं।
वॉलेट यूजर्स के लिए अब क्या हैं विकल्प
पेटीएम वॉलेट यूजर्स 29 फरवरी तक लेन-देन जारी रख सकते हैं। इसके बाद वे अपनी शेष राशि का इस्तेमाल तब तक कर सकेंगे, जब तक यह खत्म न हो जाए। ग्राहक 29 फरवरी के बाद वॉलेट में पैसा नहीं जोड़ पाएंगे। बीस से ज्यादा बैंक और गैर-बैंकिंग संस्थाएं वॉलेट सेवा देती हैं।
इसी तरह एसबीआइ, एचडीएफसी, आइसीआइसीआइ, आइडीएफसी, एयरटेल पेमेंट्स जैसे 37 बैंक फास्टैग सेवा देते हैं। ग्राहक मोबाइल बैंकिंग, इंटरनेट बैंकिंग या गूगल पे और फोनपे जैसे तीसरे पक्ष के ऐप से फास्टैग को रिचार्ज कर सकते हैं।