loan fraud online: digi desk/BHN/ यदि आपके मोबाइल पर कोई मैसेज आए और आपको बिना गारंटी या कम दस्तावेज के लोन देने की बात कहे तो सावधान हो जाएं। ऐसे मैसेज पर रिस्पांड करते हुए आपने कोई छोटा-मोटा लोन ले भी लिया, तो यह आपके लिए मुसीबत बन सकता है। दरअसल, लोन न चुका पाने पर संबंधित व्यक्ति के रिश्तेदार या परिचितों को धमकाने के मामले भी सामने आ रहे हैं। इसके चलते जिला अग्रणी बैंक प्रबंधन ने भी ऐसे मामलों में लोगों को सतर्क रहने की समझाइश दी है।
राजधानी में ऑनलाइन तरीकों से भोलेभाले लोगों को ठगने के मामले लगातार सामने आ रहे हैं। कभी ग्राहकों को लोन दिलाने के नाम पर मोबाइल में कोई एप डाउनलोड कराकर उनकी बैंक संबंधित जानकारी ली जाती है और फिर बैंक खाते से रुपये निकाल लिए जाते हैं, तो कभी अन्य तरीकों से लोगों की ठगी का शिकार बनाया जा रहा है। इसके अलावा तुरंत लोन देने के नाम पर भी लोगों को झांसे में लिया जा रहा है। ऐसे मामलों से बचने के लिए सायबर एक्सपर्ट और बैंककर्मी लोगों को समझाइश भी दे रहे हैं।
फाइल चार्ज के नाम पर काट लेते राशि, फिर अधिक ब्याज वसूला जाता
ऐसे मामलों में लोगों को कम दस्तावेज या गारंटी के लोन देने का झांसा दिया जाता है, लेकिन इसके पीछे ठगों की मंशा कुछ और ही रहती है। सबसे पहले वे 30 फीसद तक राशि विभिन्न चार्ज के नाम पर काट लेते हैं। वहीं मनमाना ब्याज लगाते हैं। इससे राशि बढ़ जाती है और कई लोग लोन की किश्त चुका नहीं पाते हैं। इस पर उन्हें कॉल करके धमकाया जाता है। साथ ही जमा किए गए दस्तावेज के आधार पर संबंधित के रिश्तेदारों के मोबाइल नंबर ढूंढ लेते हैं और फिर उन्हें भी कॉल करते हैं।
तुलसी नगर में रहने वाले गजेन्द्र सिंह के साथ ऐसा ही हुआ। उनका कहना है कि मोबाइल पर मैसेज आया था कि तुरंत लोन दे दिया जाएगा। संपर्क किया तो व्यक्तिगत जानकारी मांगी गई। साथ ही कुछ दस्तावेज की जानकारी भी मंगाई गई। इनके आधार पर सात हजार रुपये का लोन स्वीकृत किया गया, लेकिन उसमें से तीन हजार रुपये विभिन्न चार्ज के नाम पर पहले ही काट लिए गए। वहीं दोगुनी राशि वसूलने की बात कही गई। जब इस पर आपत्ति जताई तो धमकी दी गई। साथ ही मोबाइल में दर्ज नम्बरों पर भी कॉल किया जा रहा है। मामले की शिकायत पुलिस को करूंगा।
पहले जांच करें, फिर ही संपर्क करें
इस संदर्भ में जिला अग्रणी बैंक प्रबंधक शैलेंद्र श्रीवास्तव का कहना है कि ठग विभिन्न तरीकों से लोगों को ठगी का शिकार बनाते हैं, जिनसे लोगों को सतर्क रहना चाहिए। सायबर एक्सपर्ट मनीष गुलाटी बताते हैं कि कोई भी बैंक जब लोन देता है तो यह भी देखता है कि ग्राहक रकम वापस चुका पाने में सक्षम है या नहीं, उसकी आय का साधन क्या है, आदि बिंदुओं पर जानकारी ली जाती है। इनके दस्तावेज के आधार पर ही लोन के मामले आगे बढ़ते हैं। लेकिन यदि बिना जांच-पड़ताल लोन देने की पेशकश हो रही है तो समझ जाइये कि कुछ तो गड़बड़ है। इसलिए लोग ऐसे मामलों से बचें, क्योंकि यह आपको किसी मुसीबत में डाल सकते हैं।